मसाला उत्पादों में एथिलीन ऑक्साइड के उपयोग पर सरकार की गहरी नजर

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नई दिल्ली। केन्द्र सरकार मसाला उत्पादों के ब्लेंड में एथिलीन ऑक्सीड (ईटीओ) के इस्तेमाल पर दिशा निर्देश तैयार कर रही है जो घरेलू एवं निर्यात- दोनों बाजार के लिए प्रभावी होगा।

जानकर सूत्रों के अनुसार सरकार मसालों की क्वालिटी की चेकिंग भी सख्ती से सुनिश्चित करने हेतु आवश्यक प्रयास करने की योजना बना रही है। मालूम हो कि ईटीओ एक ज्वलनशील रंगहीन गैस है जिसका उपयोग उपयोग कीटनाशी के रूप में किया जाता है। मसालों एवं मसाला उत्पादों सूक्ष्म कीटाणुओं की उपस्थिति को घटाने में इसका उपयोग होता है

लेकिन यदि मान्य या स्वीकृत सीमा से इसका अधिक उपयोग किया जाए तो यह मानवीय स्वास्थ्य के लिए हानिकारक साबित हो सकता है। सिंगापुर एवं हांगकांग में दो भारतीय कंपनियों के ब्लेंडेड मसालों में ईटीओ की ज्यादा उपस्थिति पाये जाने के बाद वहां इसकी बिक्री पर प्रतिबंध लगा दिया गया।

ऑस्ट्रेलिया में भी इन मसालों की गुणवत्ता की जांच-पड़ताल करने का निर्णय लिया गया इसे देखते हुए भारतीय मसाला बोर्ड तथा भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण ने मसालों की प्रयोगशाला जांच को अनिवार्य बनाने का फैसला किया।

अब केन्द्र सरकार भी इसके लिए आवश्यक दिशा निर्देश जारी करने वाली है। चूंकि भारत दुनिया में मसालों का सबसे बड़ा उत्पादक एवं निर्यातक देश है और इसके निर्यात से विशाल मात्रा में बहुमूल्य विदेशी मुद्रा प्राप्त होती है। इसलिए सरकार वैश्विक बाजार में भारतीय मसालों एवं मसाला उत्पादकों की साख, प्रतिष्ठा एवं विश्वसनीयता के प्रति सदैव सचेत रहती है।