जयपुर/कोटा। पुलवामा आतंकी हमले में शहीद हुए राज्य के पांच जवानों को शनिवार को उनके पैतृक गांवों में पूरे राजकीय व सैनिक सम्मान के साथ अंतिम विदाई दी गयी। हजारों लोगों के जनसमूह ने वंदे मातरम व भारत माता के जयकारों के बीच इन सैनिकों को अश्रुपूर्ण विदाई दी। वहीं इन हमलों के विरोध में जयपुर, कोटा सहित राज्य के कई प्रमुख शहरों में बाजार आधा दिन बंद रहे।
पुलवामा में शुक्रवार को बर्बर आतंकी हमले में राज्य के पांच जवान शहीद हुए जिनमें रोहिताश लांबा, हेमराज मीणा, जीतराम गुर्जर, भागीरथ सिंह और नारायण लाल गुर्जर शामिल हैं। ये सभी केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल में थे। इनमें से चार जवानों की पार्थिव देह नयी दिल्ली से सड़क मार्ग से उनके गांव पहुंचीं वहीं राजसमंद के शहीद नारायण लाल गुर्जर की पार्थिव देह भारतीय वायुसेना के हैलीकाप्टर से लाई गयी।
रोहिताश लांबा का अंतिम संस्कार उनके गांव शाहपुरा में किया गया। दो माह के बेटे ध्रुव से मुखाग्नि दिलाई गयी। अंतिम संस्कार से पहले रोहिताश को गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया। केंद्रीय मंत्री राज्यवर्धन सिंह राठौड़, राज्य के मंत्री शांति धारीवाल व प्रताप सिंह खाचरियावास ने उन्हें श्रद्धांजलि दी। जयपुर से लगभग 65 किलोमीटर दूर शाहपुरा के पास गोविंदपुरा बसेड़ी के निवासी रोहिताश लांबा अपने परिवार के लिए एकमात्र कमाउ पूत थे।
वह 2013 में सीआरपीएफ में शामिल हुए और 2017 में उनकी शादी हुई थी । बाकी चारों जगह भी शहीद जवानों को अंतिम विदाई देने हजारों की संख्या में लोग पहुंचे। हर जगह भारत माता के जयकारे लगे। पाकिस्तान मुर्दाबाद के नारे लगे। लोगों ने अश्रुपूरित आंखों से शहीदों को अंतिम विदाई दी। शहीद हेमराज मीणा का अंतिम संस्कार उनके पैतृक गांव सांगोद (कोटा) में, शहीद जीतराम गुर्जर का सुंदरावली (भरतपुर) में, शहीद भागीरथ सिंह का राजाखेड़ा (धौलपुर) व नारायण लाल गुर्जर का बिनोल (राजसमंद) में किया गया।
शहीदों की यात्रा में हजारों की संख्या में लोग मौजूद थे जिन्होंने शहीदों के अमर रहने और हिंदुस्तान जिंदाबाद के नारे लगाए। हर आंख नम दिखी और बहुत से लोग तो अपनी रुलाई भी नहीं रोक पाए। कई केंद्रीय व राज्य के मंत्री, विधायक भी शहीदों की अंतिम यात्रा में शामिल हुए। वहीं भारतीय अर्द्धसैनिक बलों पर इस बर्बर हमले के विरोध में शनिवार को राजधानी जयपुर चुरू, पाली व झुंझुनू सहित अनेक शहरों में बाजार आधा दिन तक बंद रहे।