मुंबई। बैंक ऋण वृद्धि के मामले में नये वित्त वर्ष की शुरूआत अच्छी नहीं रही है। समाप्त पखवाड़े में c 4.32 प्रतिशत रह गई। इससे पहले वित्त वर्ष 2016-17 में इसका 63 साल का न्यूनतम स्तर 5.08 प्रतिशत रहा था। इस समय यह इससे भी कम रहा है। रिजर्व बैंक द्वारा जारी ताजा आंकड़ों में यह जानकारी दी गई है।
आलोच्य पखवाड़े में बैंक ऋण 4.32 प्रतिशत बढ़कर 75,450 अरब रुपये पर पहुंच गया जो कि पिछले साल इसी अवधि में 72,320 अरब रुपये पर था। वित्त वर्ष 2016-17 में रिण वृद्धि 5.08 प्रतिशत रही जो पिछले कई दशकों का न्यूनतम स्तर है।
रिण में कम वृद्धि का कारण फंसे कर्ज में वृद्धि तथा कंपनियों की ओर से कमजोर मांग का रहना है।इसके साथ ही एक वजह यह भी है कि कंपनियां कारपोरेट बांड बाजार से धन जुटा रही हैं जहां ब्याज दर बैंकों के मुकाबले काफी कम है।
आलोच्य पखवाड़े में बैंक जमा की वृद्धि भी कमजोर पड़कर 10.33 प्रतिशत बढ़कर 105,090 अरब रुपये रही जो एक साल पहले 29 अप्रैल 2016 को समाप्त पखवाड़े में 95,250 अरब रुपये रही थी।