कच्चे तेल की कीमत 3 साल के उच्चतम स्तर पर, जानिए क्यों आ रही तेजी

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नई दिल्ली। कच्चे तेल के बाजार (Crude Oil Market) में तेजी कायम है। इसकी कीमत 3 साल के उच्चतम स्तर 85 डॉलर प्रति बैरल के करीब जा पहुंची है। पिछले दो महीने में ही कच्चा तेल (Crude Oil) 19 फीसदी चढ़ गया है। इसका असर दुनिया भर के पेट्रोल-डीजल बाजारों (Petrol-Diesel Market) पर पड़ रहा है, जिसमें भारत भी शामिल है। ब्रेंट क्रूड की कीमत इस सप्ताह की शुरुआत में 85 डॉलर प्रति बैरल के निशान को तोड़कर 2018 के बाद से अपने उच्चतम स्तर पर पहुंच गई। एक साल पहले ब्रेंट क्रूड की कीमत 42.5 डॉलर प्रति बैरल थी, जो अब लगभग दोगुनी हो चुकी है।

​क्रूड की कीमतों में आई तेजी की वजह है कि वैश्विक अर्थव्यवस्था महामारी के असर से बाहर आ रही है और आर्थिक गतिविधियों में तेजी आई है। लिहाजा कच्चे तेल की वैश्विक मांग में तेज वृद्धि हुई है। कच्चे तेल की मांग में इजाफा होने की एक वजह कोयला और नेचुरल गैस की कीमतों में वृद्धि भी है। इन कमोडिटीज का इस्तेमाल बिजली उत्पादन के लिए ईंधन के रूप में उपयोग किया जाता है। कोयला और नेचुरल गैस की उच्च कीमतों की वजह से पावर जनरेशन के लिए तेल एक आकर्षक कमोडिटी बन गया है और इसलिए भी क्रूड की मांग बढ़ रही है, जिससे कीमत भी बढ़ रही है।

दूसरी ओर कच्चे तेल के रिकॉर्ड हाई पर उत्पादन को सितंबर महीने में अमेरिका में आए 2 बड़े तूफानों की वजह से झटका लगा। तेल उत्पादक देशों के ओपेक+ समूह ने अपने नवीनतम दौर की बैठकों में फिर से पुष्टि की है कि वे कीमतों में तेज वृद्धि के बावजूद नवंबर में कुल कच्चे तेल की आपूर्ति में केवल 400,000 बैरल प्रति दिन की वृद्धि करेंगे। शीर्ष तेल उत्पादक देशों- सऊदी अरब, रूस, ईराक, संयुक्त अरब अमीरात और कुवैत का उत्पादन नवंबर में वृद्धि के बाद भी, उत्पादन के संदर्भ स्तर से लगभग 14 फीसदी कम रहेगा। उत्पादन पर्याप्त न होने की वजह से आपूर्ति कम है।

​OPEC+ देश साल 2020 में कोविड19 की वजह से ग्लोबल ट्रैवल प्रतिबंधों के चलते कच्चे तेल की सप्लाई में बड़ी कटौती के लिए सहमत हुए थे। अब कच्चे तेल की मांग बढ़ी है लेकिन समूह की प्रॉडक्शन बढ़ाने की रफ्तार धीमी है। भारत और अन्य तेल आयातक देशों ने ओपेक+ से तेल आपूर्ति को तेजी से बढ़ावा देने का आह्वान किया है। उन्होंने तर्क दिया है कि कच्चे तेल की ऊंची कीमतें, वैश्विक अर्थव्यवस्था की रिकवरी को कमजोर कर सकती हैं।

2021 में देश भर में नए रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच चुकी पेट्रोल और डीजल की कीमत में कच्चे तेल की ऊंची कीमतों का भी योगदान है। शुक्रवार को लगातार तीसरे दिन पेट्रोल और डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी हुई। दिल्ली में इंडियन ऑयल (IOC) के पंप पर पेट्रोल (Petrol Price) 35 पैसे महंगा हो कर 106.89 रुपये प्रति लीटर पर पहुंच गया। डीजल (Diesel Price) भी 35 पैसे महंगा हो कर 95.62 रुपये प्रति लीटर पर पहुंच गया।