नई शिक्षा नीति के आधार पर रोजगारपरक पाठ्यक्रम बनायें: राज्यपाल मिश्र

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वर्धमान महावीर ओपन यूनिवर्सिटी का 15वां दीक्षांत समारोह

कोटा। वर्धमान महावीर ओपन यूनिवर्सिटी का 15वां दीक्षांत समारोह मंगलवार को राज्यपाल कलराज मिश्र की अध्यक्षता में नवनिर्मित संत सुधा सागर सभागार में आयोजित किया गया। इस अवसर पर राज्यपाल मिश्र ने कहा कि ओपन यूनिवर्सिटी में शिक्षा पाने वाले हर छात्र का भविष्य उज्ज्वल है। आने वाले समय में उच्च शिक्षा का भविष्य काफी सुनहरा है। राज्यपाल ने कहा कि हमें नई शिक्षा नीति मिली है, उसके आधार पर ऐसे पाठ्यक्रम बनाने चाहिए, जिससे लोगों को रोजगार मिल सके।

राज्यपाल कलराज मिश्र ने कहा कि हर क्षेत्र में बेटियां नाम रोशन कर रही हैं और आगे आकर नेतृत्व कर रही हैं। विवि में शिक्षा पाने वाले हर छात्र का भविष्य उज्ज्वल है और आने वाले समय में उच्च शिक्षा का भविष्य काफी सुनहरा है। बालिकाओं के लिए मुफ्त में शिक्षा प्रदान करने वाला खुला विश्वविद्यालय वास्तव में प्रगति के नए आयाम तय कर रहा है। उन्होंने कहा कि गांवों को गोद लेकर जो भी विकास और जागरूकता के कार्यक्रम किए जा रहे हैं, उससे एक नया बदलाव आने वाला है।

डॉ. बाबा साहेब अंबेडकर ओपन यूनिवर्सिटी अहमदाबाद की कुलपति प्रो. अमी यू. उपाध्याय ने दीक्षांत भाषण में कहा हमें अपनी संस्कृति पर गर्व करना चाहिए। उन्होंने कहा कि आज महिलाएं जीवन के हर क्षेत्र में उन्नति कर रही हैं। हर किसी को सुख और समृद्धि में शरीक होना चाहिए। प्रो. उपाध्याय ने कहा कि आज जो भी छात्र यहाँ से दीक्षा लेकर जा रहा है उसका भविष्य का लक्ष्य बिलकुल साफ होना चाहिए।

इनको मिली उपाधियां
परीक्षा नियंत्रक प्रो बी. अरूण कुमार ने बताया कि समारोह में दिसंबर 2020 में एमएससी गणित की परीक्षा में टॉपर विद्यार्थी वर्षा नागदा को कुलाधिपति स्वर्ण पदक, दिसंबर 2020 की पीजीडीएलएल परीक्षा के टॉपर अतुल कुमार सिंह को पंडित लक्ष्मी नारायण जोशी स्वर्ण पदक तथा पीएचडी की 15 उपाधियां, स्नातकोत्तर की 6493, स्नातक कार्यक्रम की 4270, पीजी डिप्लोमा की 839, डिप्लोमा कार्यक्रमों की 975 उपाधियां शामिल हैं। कुल 12592 उपाधियों का वितरण किया गया। खुला विश्वविद्यालय के ईएमपीसी कर्मी सौरभ पांडेय को कंप्यूटर साइंस तथा मयंक गौड़ को पत्रकारिता में पीएचडी प्रदान की गई।

22 छात्राओं को स्वर्ण पदक
स्वर्ण पदक पाने वाली छात्राओं की संख्या ज्यादा रही। कुल 22 छात्राओं को स्वर्ण पदक, 9 छात्रों को स्वर्ण पदक मिले। शोध छात्रों में 15 में से 7 छात्राओं को पीएचडी की डिग्री प्रदान की गई। वर्षा नागदा को चांसलर गोल्ड मेडल दिया गया।

गोल्ड मेडल का श्रेय लड्डू गोपाल को
संस्कृत की छात्रा नोखा बीकानेर की गरिमा राकांवत दीक्षांत समारोह में लड्डू गोपाल साथ लेकर पहुंची। ऐसे में दीक्षांत समारोह में मौजूद रहे स्टूडेंट्स और अतिथियों की नजर लडडू गोपाल पर रही। कार्यक्रम में वह लडडू गोपाल को हाथ में लेकर बैठी रही। गरिमा को गोल्ड मैडल मिला है। इस दौरान उनसे बात करने की कोशिश की लेकिन उन्होंने बात करने से इंकार कर दिया। बताया जा रहा है कि वह बचपन से ही लडडू गोपाल की भक्ति में लीन है। जहां भी जाती हैं लडडू गोपाल को साथ लेकर जाती हैं। उन्होंने गोल्ड मेडल का श्रेय भी लड्डू गोपाल को ही दिया।