नई दिल्ली। पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि अगले 10 वर्षों में भारत हाइड्रोकार्बन क्षेत्र में 300 अरब डॉलर के निवेश के अवसरों की पेशकश करेगा, ताकि देश की ऊर्जा मांग के साथ तालमेल बिठाया जा सके। उन्होंने यह भी कहा कि ऊर्जा से संबंधित मुद्दों पर सरकार को सलाह देने के लिए विशेषज्ञों का एक समूह स्थापित किया जा रहा है।
इसके अलावा उन्होंने कहा, बाजार संचालित कीमतों के लिए एक गैस मंच के लिए एक कैबिनेट प्रस्ताव को अंतिम रूप दिया जा रहा है। केरावीक की ओर से आयोजित इंडिया एनर्जी फोरम के एक इंटरेक्शन कार्यक्रम के दौरान कहा, “हमारी भविष्य की मांग पर विचार करते हुए अगले 10 सालों में भारत 300 अरब डालर (हाइड्रोकार्बन क्षेत्र में) की परियोजना की पेशकश कर रहा है।”
आने वाले पांच वर्षों में तेल क्षेत्र में 1 खरब डॉलर के निवेश और साउदी अरामको की ओर से किए जाने वाले 300 बिलियन अमेरिकी डॉलर के निवेश के बारे में नीती आयोग के सीईओ अमिताभ कांत की टिप्पणी पर बोलते हुए उन्होंने कहा कि यह एक गलत बयानी है और अरामको ने अपने वैश्विक बुनियादी ढांचे में 300 अरब डालर के निवेश करने की योजना बनाई है।
CNG ग्राहकों के लिए सरकार पेश करेगी IGL स्मार्ट कार्ड
पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान बुधवार को प्रीपेड आईजीएल स्मार्ट कार्ड लॉन्च करने जा रहे हैं। इससे सीएनजी वाहन चालकों को निश्चित तौर पर बड़ी राहत मिलेगी। कार्ड की मदद से ग्राहकों को सीएनजी गैस स्टेशन पर लंबी लाइनों में नहीं लगना पड़ेगा। प्रधान इस कार्ड को दिल्ली में पेश करने वाले हैं।
कैसे मददगार होगा यह स्मार्ट कार्ड
आईजीएल स्मार्ट कार्ड की लॉन्चिंग के दौरान साइंस एंड टेक्नोलॉजी मंत्री समेत दिल्ली के सभी सात लोकसभा सांसद भी मौजूद रहेंगे। इसे सीएनडी स्टेशन पर रिटेल ग्राहकों की तरफ से भुगतान के लिए डिजायन किया गया है। ऐसा दावा किया जा रहा है कि इसकी मदद से सीएनजी स्टेशन पर भुगतान के दौरान हड़बड़ी नहीं होगी।
साथ ही लेनदेन पारदर्शी और सुविधाजनक बनेगा। सीएनजी ग्राहक आईजीएल स्मार्ट कार्ड को पिन से सुरक्षित रख सकेंगे और इसे नेट बैंकिंग, क्रेडिट या डेबिट कार्ड के जरिए स्टेशनों पर रिचार्ज किया जा सकेगा। इस कार्ड को ग्राहक सीएनजी स्टेशन से खरीद सकेंगे।