एक ही परिवार के सात लोग प्लाज्मा डोनेशन के लिए आए आगे

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कोटा। कॅरियर सिटी कोटा में जहां लोगों का जीवन बन रहा है, जिंदगी संवर रही है, वहीं अब लोगों का जीवन बच भी रहा है। इस जीवन को बचाने की मुहीम में टीम जीवनदाता के प्रयासों की पराकाष्ठा से एक साथ कभी तीन मित्र तो कभी पिता पुत्र और बेटी और अब प्रदेश का ऐसा मामला सामने आया है जब एक ही परिवार के सात लोग प्लाज्मा डोनेशन करने एमबीएस ब्लड बैंक के प्लाज्मा बैंक पहुंचे।

इनके चेहरे पर खुशी का वो भाव था मानो नया जीवन मिल गया हो और अब प्लाज्मा डोनेशन कर दूसरों को नया जीवन देने जा रहे हों। टीम जीवनदाता के संयोजक व लायंस क्लब के जोन चेयरमैन भुवनेश गुप्ता ने बताया कि एक ही परिवार के सात लोगों द्वारा एक साथ प्लाज्मा डोनशन के लिए आगे आने का ये प्रदेश का पहला मामला है।

उन्होंने कहा कि स्टेशन क्षेत्र स्थित शास्त्री कॉलोनी गणेशपुरा निवासी बिजेन्द्र वैष्णव व उनके परिवार के अन्य सदस्यों ने प्लाज्मा डोनेट कर हर उस वर्ग को सीख दी है जो कोरोना की जंग जीतने के बाद घर पर बैठे हैं। इनके परिवार में बिजेन्द्र वैष्णव (47) उनकी पत्नी सुनीता (45), बेटा जयंत वैष्णव (18), बेटी स्वाती वैष्णव (24), बिजेन्द्र के भाई महेन्द्र वैष्णव (45) उनकी बेटी दामिनी वैष्णव (21) व परिवार के ही विजय (32) प्लाज्मा डोनेशन करने के लिए आगे आये। प्लेटलेट कम होने पर महेंद्र वैष्णव व हीमोग्लोबिन कम होने पर दामिनी वैष्णव कुछ समय बाद प्लाज्मा डोनेशन करेंगे।

जिंदगी की जंग जीतने के बाद देंगे जिंदगी
परिवार के प्रमुख बिजेन्द्र ने बताया कि उनका छोटा भाई महेन्द्र सबसे पहले कोरोना पॉजिटिव आया उसकी तबियत बिगडने पर उसे जयपुर महात्मा गांधी में भर्ती कराया गया। जहां 15 दिन भर्ती रहने के बाद उनकी तबियत में सुधार हुआ और वह कोरोना की जंग जीतकर वापस आए। उसके तुरंत बाद ही बिजेन्द्र वैष्णव स्वयं कोरोना पॉजिटिव आए। तबियत बिगडने लगी, सांस लेने में परेशानी होने पर एनएससीएच में भर्ती कराया गया। वहां 10 दिन आईसीयू में भर्ती रहे और टीम जीवनदाता के सहयोग से दो बार प्लाज्मा उपलब्ध कराया गया, जिससे उनका जीवन बच सका।

वह कोरोना की जंग जीत गए, लेकिन परिवार के अन्य सदस्य तब तक पॉजिटिव हो चुके थे। ऐसे में सभी का उपचार चला और एक माह तक घर में कोरोना के वायरस के साथ सभी समस्याओं से जुझते रहे। स्वस्थ्य हुए तो मानो कोई वरदान मिल गया हो और ईश्वर का आभार प्रकट करते हुए स्वयं आगे चलकर आए और सभी ने प्लाज्मा डोनेशन की ठानी और दूसरों के जीवन का मोल समझा और प्लाज्मा डोनेशन किया। प्लाज्मा डोनेशन के बाद डोनर्स ने कहा कि हम आगे भी प्लाज्मा डोनेशन करने के लिए यहां आते रहेंगे, ये ही नहीं दूसरों से सम्पर्क कर प्लाज्मा डोनेशन में आ रही समस्या का समाधान करने का प्रयास भी किया जाएगा, उन्होंने कहा कि बच्चों के साथ प्लाज्मा डोनेशन करने से मन में गहरा सुकून मिला है।

एजुकेशन के साथ अब प्लाज्मा डोनेशन के लिए जाना जाएगा कोटा
कोरोना के आने के बाद कोटा में जब से प्लाज्मा बैंक शुरू हुआ है तब से लेकर अब तक कोटा ने कई कीर्तिमान स्थापित किए हैं। जहां हम प्रदेश में सबसे अधिक प्लाज्मा डोनेशन का रिकॉर्ड बना चुके हैं, और 200 से अधिक प्लाज्मा डोनेशन कर चुके हैं वहीं अब एक साथ एक ही परिवार के सात लोगों का रिकॉर्ड देश व प्रदेश के लिए गौरव की बात है। भुवनेश गुप्ता ने बताया कि आने वाले समय में कई और ऐसे उदाहरण देखने को मिलेंगे जिसमें विश्व पटल पर हम अपनी पहचाने को और अधिक दृढ करेंगे। इस कार्य को बखुबी निभाने में टीम जीवनदाता के सेवाभावी व समर्पित सदस्य वर्धमान जैन, मनीष माहेश्वरी, नितिन मेहता, एडवोकेट महेन्द्रा वर्मा, अंकित पोरवाल, मनोज जैन विपुल गुप्ता, प्रतीक अग्रवाल, राम प्रसाद मीणा, मोहित दाधिच सहित कई लोग शामिल हैं।