G20 बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गिनाए UPI के फायदे
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज जी20 की वित्त मंत्रियों और केंद्रीय बैंक के गवर्नर्स की बैठक को संबोधित किया। इस दौरान प्रधानमंत्री ने कहा कि बीते कुछ सालों में हमने एक बेहद सुरक्षित, विश्वसनीय और किफायती सार्वजनिक डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर बनाया है। इस डिजिटल पेमेंट्स इकोसिस्टम ने तेजी से प्रशासन, वित्तीय समावेश और लोगों की आम जिंदगी को आसान बनाया है।
बैठक को वर्चुअली संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि भारतीय ग्राहक और उत्पादक भविष्य को लेकर आशावान हैं। हम उम्मीद करते हैं कि आप इस सकारात्मकता को वैश्विक अर्थव्यवस्था में फैलाएंगे। प्रधानमंत्री ने कहा कि जी20 की अध्यक्षता के दौरान हमने एक ऐसा फिनटेक प्लेटफॉर्म तैयार किया है, जिसकी मदद से जी20 सदस्य देशों के मेहमान भारत के डिजिटल पेमेंट प्लेटफॉर्म यूपीआई का इस्तेमाल कर सकेंगे।
जी20 की यह बैठक बेंगलुरु में आयोजित हो रही है और शुक्रवार को इस बैठक का दूसरा दिन है। इस बैठक में भारत की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण और केंद्रीय बैंक रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास मौजूद रहे। बता दें कि कई सरकारी योजनाओं का पैसा भी डिजिटल पेमेंट के द्वारा लोगों के खातों में सीधे ट्रांसफर किया जा रहा है।
साथ ही आम लोग रोजमर्रा की चीजें खरीदने के लिए भी डिजिटल पेमेंट कर रहे हैं। भारत का डिजिटल पेमेंट प्लेटफॉर्म यूपीआई और पे नाऊ अब सिंगापुर में भी काम करेंगे। बता दें कि भारत और सिंगापुर ने अपने डिजिटल पेमेंट सिस्टम्स को लिंक करने का फैसला किया है। दोनों देशों के बीच हर साल करीब एक बिलियन डॉलर से ज्यादा का आदान-प्रदान होता है।
जी20 की यह बैठक बेंगलुरु में आयोजित हो रही है और शुक्रवार को इस बैठक का दूसरा दिन है। इस बैठक में भारत की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण और केंद्रीय बैंक रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास मौजूद रहे। बता दें कि कई सरकारी योजनाओं का पैसा भी डिजिटल पेमेंट के द्वारा लोगों के खातों में सीधे ट्रांसफर किया जा रहा है।
साथ ही आम लोग रोजमर्रा की चीजें खरीदने के लिए भी डिजिटल पेमेंट कर रहे हैं। भारत का डिजिटल पेमेंट प्लेटफॉर्म यूपीआई और पे नाऊ अब सिंगापुर में भी काम करेंगे। बता दें कि भारत और सिंगापुर ने अपने डिजिटल पेमेंट सिस्टम्स को लिंक करने का फैसला किया है। दोनों देशों के बीच हर साल करीब एक बिलियन डॉलर से ज्यादा का आदान-प्रदान होता है।