जयपुर। राजस्थान विधानसभा में गुरुवार को प्रश्नकाल में क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसायटीज की धोखाधड़ी का मुद्दा गूंजा। मावली विधायक धर्मनारायण जोशी ने सरकार से पूछा कि प्रदेश में क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसायटीज की धोखाधड़ी के शिकार कितने निवेशकों को उनकी राशि वापस नहीं मिल पाने की शिकायत सरकार को मिली।
सहकारिता मंत्री की ओर से श्रम मंत्री टीका राम जूली ने इसका जवाब दिया। कहा कि जिन सोसायटीज के नाम सामने आए हैं, उनमें आपके एक केंद्रीय मंत्री की पत्नी और अन्य रिश्तेदारों के भी नाम हैं, जिन्होंने विदेशों में जमीन भी खरीदी है। हालांकि, जूली के इस जवाब पर भाजपा की तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई।
नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि बहुत से लोग ऐसे हैं, जिन्होंने अपने रिटायरमेंट के बाद पैसा इन सोसाइटी में जमा करवा दिया, लेकिन उनके साथ धोखाधड़ी हो गई। अब इन धोखाधड़ी करने वाले सोसायटी संचालकों को जेल में डालने से उनको कोई राहत नहीं मिलने वाली, इनकी संपत्ति जब्त कर उनको पैसा लौटाने की कार्रवाई की जाए।
इसके लिए सरकार को जो करना हो करे ताकि आगे तो इसतरह की कोई ठगी नहीं हो सके। कटारिया के बयान के बाद सदन में बैठे सीएम गहलोत ने कहा- इसके लिए सदन चाहे तो आधा घंटे अलग से चर्चा कर सकते हैं। इस मुद्दे पर सदन जैसा चाहेगा सरकार वैसा करेगी। गहलोत बोले कि यदि इस पर कानून बनाने की जरूरत होगी तो उसके लिए भी मैं तैयार हूं। यह मामला केंद्र से भी जुड़ा है, इसके लिए केंद्र सरकार को भी राज्य सरकार की ओर से पत्र लिख चुके हैं।