Budget : सरकार वसूलेगी 30 हजार करोड़ रुपये ‘टैक्स’, जानिए आप पर असर

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नई दिल्ली। केंद्रीय वित्त वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) ने अपने बजट भाषण में एग्रीकल्चर इंफ्रास्ट्रक्चर एंड डेवलपमेंट सेस (Agriculture Infrastructure and Development Cess) लगाने की घोषणा की है। सरकार का कहना है कि इस प्रावधान से साल में करीब 30,000 करोड़ रुपये मिलेंगे। लेकिन इससे आम जनता पर कोई बोझ नहीं पड़ेगा। यह खुलासा केंद्रीय वित्त सचिव अजय भूषण पांडेय ने किया।

आम जनता पर कोई अतिरिक्त बोझ नहीं
केंद्रीय वित्त सचिव (Finance Secretary) के साथ साथ वित्त मंत्रालय में राजस्व सचिव (Revenue Secretary) अजय भूषण पांडेय ने बजट के बाद संवाददाताओं से बातचीत में बताया कि बजट में करीब 14-15 वस्तुओं पर एग्रीकल्चर इंफ्रास्ट्रक्यर डेवलपमेंट सेस लगाने का प्रावधान किया गया है। लेकिन इस प्रावधान से आम जनता पर अतिरिक्त असर नहीं पड़ेगा। इससे सरकार को साल में करीब 30,000 करोड़ रुपये आने के अनुमान हैं।

कैसे होगा यह सब
वित्त सचिव ने कहा कि जिन वस्तुओं पर इस समय एग्रीकल्चर इंफ्रास्ट्रक्चर सेस लगाया गया है, उन वस्तुओं पर पहले से ही लगे बेसिक कस्टम ड्यूटी (Basic Custom Duty) या एक्साइज ड्यूटी (Excise Duty) को युक्तिसंगत किया गया है। इसके बाद उस पर एग्रीकच्लर इंफ्रास्ट्रक्चर सेस लगाया गया है। इससे उस वस्तु पर टैक्स का इंसीडेंट उतना ही होगा, जितना पहले हुआ करता था।

फिर सरकार को अतिरिक्त आमदनी कैसे मिलेगी
वित्त मंत्रालय के अधिकारियों का कहना है कि जब कोई केंद्रीय कर लगाया जाता है, तो उसमें राज्यों की भी हिस्सेदारी बनती है। चौदहवें वित्त आयोग ने केंद्रीय करों में राज्यों की हिस्सेदारी का जो फार्मूला दिया है, उसके मुताबिक राज्यों को करीब 40 फीसदी राशि देनी पड़ती है। लेकिन जब कोई सेस लगाया जाता है तो उसमें राज्यों के साथ बंटवारा नहीं करना पड़ता है। इसलिए केंद्र सरकार के पास अतिरिक्त 30 हजार करोड़ रुपये आ जाएंगे।

किसानों की आमदनी दूनी करने के वादे पर बरकरार
वित्त मंत्री ने किसानों की आमदनी को दोगुना करने के सरकार के वादे को आज एक बार फिर दोहराया। उन्होंने कहा कि एग्रीकल्चर सेक्टर को मजबूती देने के लिए ही एग्रीकल्चर इंफ्रास्ट्रक्चर एंड डेवलपमेंट सेस लगाया गया है।