पिता-पुत्र ने एक साथ प्लाज़्मा डोनेशन कर पेश की मानवता की मिसाल

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कोटा। शहर में लगातार बढ़ रहे कोरोना संक्रमण के बीच ये एक अच्छी खबर है कि लोगो मे प्लाज़्मा थैरेपी को लेकर जागरूकता बढ़ी है। अब परिवार स्वप्रेरणा से इसमें सहयोग कर रहे है। रविवार को भी चार सदस्यों ने आकर प्लाज्मा डोनेट किया । अभी तक शहर में 140 प्लाज़्मा डोनेशन हो चुके हैं।

टीम जीवनदाता के संयोजक व लायंस क्लब के जोन चेयरमैन भुवनेश गुप्ता बताते है कि रविवार को उनकी टीम द्वारा चार प्लाज़्मा डोनेशन हुए उनमें से दो डोनेशन पिता- पुत्र के थे। नम्रता आवास निवासी 56 वर्षीय युगल किशोर खत्री (O+) सेना के स्टेशन हेड क्वार्टर में सीएसबीओ के पद कर कार्यरत है।

जुलाई में वे एवं पुत्र राहुल भी पॉज़िटिव आये थे। राहुल बैंगलोर में सॉफ्टवेयर इंजीनियर के रूप में कार्यरत है , और कोटा घर आया हुआ था। 26 वर्षीय राहुल (O+) ने प्लाज़्मा थेरेपी से लोगो को ठीक होते हुवे दिल्ली में देखा था, तब ही पूरा मन बनाकर पापा को भी मोटीवेट किया था। पिता के सेना में होने के नाते सेवा भावना पूरी है, सो 28 दिन का समय पूरा होने पर टीम जीवनदाता के सहयोग से दोनो ने रविवार को प्लाज़्मा डोनेट किया।

युगल किशोर का मानना है कि सरहद पर हम दुश्मन देश से लड़कर देश को सुरक्षित रखने का प्रयास करते है उसी तरह देशवासियों को कोरोना रूपी इस दुश्मन से प्लाज़्मा डोनेट कर बचाना भी देशभक्ति है, सो ये कार्य तो करना ही था।

इसी तरह ग्रामीण पुलिस लायन के कॉन्स्टेबल 34 वर्षीय मदन मोहन (O+) ने भी प्लाज़्मा डोनेट किया। टीम के पुनीत अग्रवाल की प्रेरणा से पहुंचे मदन कहते है कि जब इतना नेक कार्य सभी पॉजिटिव आने वाले लोग कर रहे है तो मैं क्यों पीछे क्यू रहूँ, मेरे छोटे से सहयोग से दो ज़िन्दगियों को जीवनदान मिलता है तो इनसे बढ़कर कोई सेवा का माध्यम है ही नही।

गुलाबबाड़ी निवासी 52 वर्षीय वीरेंद्र जैन (B+) ने भी प्लाज़्मा डोनेट किया। घर मे पुत्री, भतीजी व छोटी बहू के पोजी टिव आने के बाद से ही बिटिया नम्रता बार बार प्लाज़्मा डोनेशन के लिये जिद्द कर रही थी । हालांकि टीम के गुप्ता से बात कर वो पापा के साथ MBS ब्लड बैंक तो पहुँच गयी। किन्तु वजन कम होने की वजह से नही कर पाई। पापा वीरेंद्र जैन को लगातार मोटीवेट करने से उन्होनें स्वयं प्लाज़्मा डोनेट किया।

वीरेंद्र रामपुरा में साउंड सिस्टम का व्यवसाय करते है। बिटिया का कहना था कि उनको पापा के प्लाज़्मा डोनेशन से बहुत सुखद अनुभव व आत्मिय सतुष्टि मिली है, वह भी ज़ल्द वजन बढ़ाकर प्लाज़्मा डोनेट करेंगी। टीम जीवनदाता के मनीष माहेश्वरी, वर्धमान जैन, नीतिन मेहता, एडवोकेट महिन्द्रा कुमारी, मोहित दाधीच व सौरभ जांगिड का पूरा सहयोग रहा। टीम साथियो ने मिलकर डोनर को उपहार भेंट कर उनका उत्साहवर्धन किया।

प्रतीक ने की एसडीपी डोनेट
इधर टीम के प्रतीक अग्रवाल द्वारा प्लाज्मा डोनेशन का कार्य करते करते ही एसडीपी को आवश्यकता आ गयी। एमबीएस में भर्ती दादाबाड़ी कच्ची बस्ती निवासी रूकसार (26) कैंसर से पीड़ित है और पति ज़ाकिर दिनभर से परेशान था। प्लाज़्मा के लिए ब्लड बैंक खड़े भुवनेश गुप्ता से अनुरोध किया। टीम के सदस्य प्रतीक फ़ौरन तैयार हो गए व एस डी पी डोनेट कर मरीज ने जान बचाई।