जयपुर। प्रदेश में 8 साल से प्रभावी रोक के अभाव में घर-बाजारों में धड़ल्ले से काम आ रहे प्लास्टिक कैरी बैग पर रोक के लिए सरकार नगरपालिका एक्ट में बदलाव कर नियम और सख्त करने जा रही है। इसके तहत जुर्माना राशि 50 गुना तक बढ़ाने की तैयारी है।
अब प्लास्टिक कैरी बैग बेचने, उसका उपयोग या संग्रहण पाए जाने पर 50 हजार रु. तक का जुर्माना किया जाएगा। अभी जुर्माना राशि 1000 रु. तक है। इतना ही नहीं, दो बार पकड़े जाने के बाद भी प्लास्टिक कैरी बैग का इस्तेमाल, बेचान या उत्पादन जारी रखने पर माल सहित फैक्ट्री आदि सभी सील होंगे। जेल भी संभव है।
राजस्थान नगरपालिका एक्ट 2009 में बदलाव का ड्राफ्ट नगरीय विकास मंत्री को भेजा गया है। सीएम के स्तर से इसकी पूरे प्रदेश में घोषणा की तैयारी के कारण अफसर इसके खुलासे से बच रहे हैं। लेकिन मंत्री की अनुमति के बाद कैबिनेट मंजूरी लेकर जल्द ही इसकी अधिसूचना जारी करने की तैयारी है। शेष |
गौरतलब है कि 26 जुलाई 2010 को एक नोटिफिकेशन से पिछली सरकार ने राजस्थान को प्लास्टिक कैरी बैग फ्री जोन घोषित किया था। प्लास्टिक बैन की कमान प्रदूषण नियंत्रण मंडल और कलेक्ट्रेट के पास होने से प्रभावी कार्रवाई नहीं हुई और प्लास्टिक का कारोबार, बेचान व उपयोग जारी रहा। अब नगरपालिका एक्ट का हिस्सा बनाकर सख्ती से बड़े जुर्माने के साथ कार्रवाई की जाएगी। अभी प्लास्टिक कैरी बैग पकड़े जाने पर अधिकारियों के अनुसार सौ रुपए जुर्माना देकर लोग छूट जाते हैं। अधिकतम भी एक हजार रुपए है।
दुकान सील होगी
स्वायत्त शासन विभाग के अधिकारियों के अनुसार पहली बार प्लास्टिक का बेचान, उपयोग या संग्रहण पाए जाने पर 5 हजार तक, दूसरी बार पकड़े जाने पर 25 हजार रुपए तक और तीसरी बार पकड़े जाने पर 50 हजार रुपए तक जुर्माना लगाया जाएगा। तीसरी बार पकड़े जाने पर जुर्माने के अलावा संबंधित प्रतिष्ठान दुकान, फैक्ट्री आदि भी सील किए जाएंगे। केंद्र के अधिनियम की पालना के अनुसार कोर्ट के फैसले के तहत जेल भी होगी।