जोधपुर। guar gum price: ग्वार के अन्य माल की अच्छी आवक होने तथा वैश्विक बाजार में मांग कमजोर रहने से ग्वार गम के घरेलू बाजार भाव में पिछले कुछ सप्ताहों में नरमी का रूख बना हुआ था और पिछले एक माह के दौरान इसकी कीमत में करीब 1000 रुपए प्रति क्विंटल की भारी गिरावट आ गई लेकिन अब नीचे दाम पर मांग निकलने की उम्मीद है जिससे कीमतों में मजबूती का माहौल बनने की उम्मीद है।
राजस्थान के जोधपुर में ग्वार गम का भाव पहले तेज हुआ था मगर बाद में 1000 रुपए गिरकर 10400-10500 रुपए प्रति क्विंटल पर आ गया। इसके फलस्वरूप ग्वार सीड की कीमत भी 200 रुपए नरम पड़कर 5200/5250 रुपए प्रति क्विंटल रह गई।
गुजरात के अहमदाबाद में भी ग्वार गम का भाव घटकर 10400-10500 रुपए प्रति क्विंटल रह गया जबकि पहले 11,700-11,800 रुपए प्रति क्विंटल चल रहा था। वैश्विक बाजार में इसकी मांग कमजोर पड़ गई थी। देश के अंदर ग्वार के शीर्ष उत्पादक प्रांतों में राजस्थान, गुजरात तथा हरियाणा शामिल है जबकि कुछ अन्य राज्यों में भी सीमित क्षेत्रफल में इसकी खेती होती है।
राजस्थान ग्वार का सबसे प्रमुख उत्पादक राज्य है और देश में करीब 70-75 प्रतिशत ग्वार का उत्पादन इसी प्रान्त में होता है। पिछले साल की तुलना में वर्ष 2024 के खरीफ सीजन के दौरान राजस्थान तथा गुजरात में ग्वार का बिजाई क्षेत्र कुछ घट गया जबकि हरियाणा में ज्यादा बदलाव नहीं आया।
प्रमुख उत्पादक मंडियों में ग्वार के नए माल की भारी आवक होने लगी है मगर मिलर्स-प्रोसेसर्स एवं व्यापारियों एवं स्टाकिस्टों की मांग इसके अनुरूप नहीं है। वायदा एक्सचेंज में भी पिछले दिन ग्वार सीड एवं ग्वार गम का भाव कुछ कमजोर रहा।
प्रमुख आयातक देशों- अमरीका, जर्मनी, इटली, रूस एवं फ्रांस आदि में ग्वार गम की मांग पहले कमजोर चल रही थी मगर अब बढ़ने की उम्मीद की जा रही है। आमतौर पर क्रिसमस के समय यूरोपीय देशों में ग्वार गम की मांग एवं खपत बढ़ जाती है। इस बार भी वहां मांग मजबूत रहने की उम्मीद है।
कृषि एवं प्रसंस्कृत खाद्य उत्पाद निर्यात विकास प्राधिकरण (एपीडा) के आंकड़ों से पता चलता है कि चालू वित्त वर्ष की पहली छमाही में यानी अप्रैल-सितम्बर 2024 के दुराण देश से ग्वार गम का निर्यात सुधरकर 2.27 लाख टन पर पहुंच गया जो पिछले साल की समान अवधि के शिपमेंट 2.16 लाख टन से 11 हजार टन हजार था। भारत ग्वार का सबसे बड़ा उत्पादक एवं गम का सबसे प्रमुख निर्यातक देश है।