विपक्ष को आड़े हाथों लेते हुए मोदी ने रोजगार और नौकरी का फर्क समझाया

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नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गुरुवार को राज्यसभा में रोजगार और नौकरी के बीच में अंतर समझाया। उन्होंने कहा कि बीते 9 सालों में अर्थव्यवस्था का विस्तार हुआ है और नए सेक्टर में रोजगार की संभावनाएं बनी है। प्रधानमंत्री मोदी ने राज्यसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा का जवाब देते हुए यह टिप्पणी की।

उन्होंने कहा कि जिनको रोजगार और नौकरी का फर्क नहीं मालूम है वो हमको उपदेश दे रहे हैं। नए-नए नैरेटिव गढ़ने के लिए आधी-अधूरी चीजों से झूठ फ़ैलाने का प्रयास हो रहा है। बीते 9 सालों में अर्थव्यवस्था का विस्तार हुआ है और नए सेक्टर में रोजगार की नई संभावनाएं बनी है।

इसी बीच प्रधानमंत्री मोदी ने स्टार्टअप का जिक्र किया। उन्होंने कहा कि 90,000 स्टार्टअप ने लोगों के लिए नौकरी के अवसर खोले हैं। अप्रैल से नवंबर 2022 तक एक करोड़ से अधिक लोगों ने ईपीएफओ के तहत नामांकन किया है। उन्होंने कहा कि इंफ्रास्ट्रक्चर सेक्टर में रिकॉर्ड निवेश हुआ है, जिससे लोगों के लिए रोजगार के अवसर पैदा हुए हैं।

इसी बीच प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि यह सदन राज्यों का सदन है बीते दशकों में अनेक बुद्धिजीवियों ने सदन से देश को दिशा दी। सदन में ऐसे लोग भी बैठे हैं जिन्होंने अपने जीवन में कई सिद्धियां प्राप्त की है। सदन में होने वाली बातों को देश गंभीरता से सुनता और लेता है। लेकिन यह दूर्भाग्यपूर्ण है कि सदन में कुछ लोगों का व्यवहार और वाणी न सिर्फ सदन को बल्कि देश को निराश करने वाली है।

प्रधानमंत्री मोदी ने विपक्ष के हो-हल्ले के बीच में अपना भाषण पूरा किया और इसी के साथ ही सदन मोदी-मोदी के नारों से गूंज उठा। सत्तारूढ़ दल के तमाम सदस्यों ने खड़े होकर प्रधानमंत्री मोदी का अभिवादन किया।