प्रभु के जन्म पर बजे थाल और घंटे, मंत्रों के नाद और जयकारों से गूंज उठा नंदग्राम

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मथुराधीश मंदिर पर हुआ अलौकिक उत्सव, दिन भर लगा रहा भक्तों का तांता

कोटा। Janmashtami program at Mathuradhish Mandir: शुद्धाद्वैत प्रथम पीठ श्री बड़े मथुराधीश मंदिर पाटनपोल पर ठाकुर जी का जन्मदिन धूमधाम से मनाया गया। इस दौरान अलौकिक उत्सव हुआ। जो दिनभर चलता रहा। कोरोना के बाद फिर से मंदिर पर अष्ट आयाम के दर्शन प्रारम्भ हुए तो भक्तों की खुशी का ठिकाना नहीं रहा। दिनभर दर्शनार्थियों का तांता लगा रहा।

जन्माष्टमी पर प्रातः 5 बजे से ही पंचामृत के दर्शन के लिए पंक्तियां लगना शुरू हो गईं थीं। यह सिलसिला दिनभर श्रृंगार तिलक, राजभोग, उत्थापन से लेकर रात्रि को जागरण के दर्शन तक चलता रहा। श्रीकृष्ण के जन्मदिन पर साक्षात पंचामृत स्नान कराया जाता है। जिसके दर्शन वर्ष में एक बार ही होते हैं। इस दौरान सर्वांग दर्शन भी हुए।जन्माष्टमी पर मंदिर को पुष्प और विद्युत रोशनी से सजाया गया है।

प्रभु के प्राकट्य पर गूंजे जयकारे
मथुराधीश प्रभु का प्रातः पंचामृत स्नान कराया गया। इसके बाद विशेष श्रृंगार किया गया। राजभोग के दर्शनों में ठाकुर जी की जन्म पत्रिका पढ़ी गई। संध्या के समय महाआरती की गई। अर्द्धरात्रि 12 बजे ठाकुर जी का प्राकट्य हुआ। अर्द्धरात्रि को जागरण और जन्म के दर्शन के लिए भक्त पाटनपोल की गलियों में उमड़ पड़े। इस दौरान मथुराधीश प्रभु के जयकारों से पूरा नंदग्राम गूंज उठा। जन्म के दर्शनों पर थाल, घंटा, मंत्र आदि गुंजायमान हो रहे थे। पंचामृत के बाद पूरी रात ठाकुर जी की सेवा चलती रही।

नंदोत्सव आज, चांदी की पालकी में विराजेंगे लाला
प्रथम पीठ युवराज मिलन कुमार गोस्वामी ने बताया कि शुक्रवार को प्रातः 8 से 1 बजे तक ठाकुर जी चांदी के पलना में विराजेंगे। नंदोत्सव के दौरान बधाइयां गूंजेगी। मुखिया जी नन्दराय बनेंगे। सभी सेवक ग्वाल बाल बनेंगे। हल्दी मिला हुआ दूध, दही उछाला जाएगा। माता यशोदा समेत सभी ग्वाल बाल और नंदराय जी स्त्री भाव से लाला को पलना झुलाएंगे। उन्होंने बताया कि दोपहर 1:30 बजे मंगला, 2:30 बजे राजभोग तथा शाम को 5 बजे संध्या आरती के दर्शन होंगे।