औद्योगिक इकाइयों से लॉकडाउन के दौरान फिक्स चार्ज नहीं लिया जाए

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कोटा। कोरोना के बढ़ते संक्रमण को रोकने के लिए देशभर में 21 दिनों का लॉक डाउन घोषित किया गया है। इस लॉक डाउन के चलते शहर की सभी औद्योगिक इकाइयां भी बंद हो चुकी है। लघु उद्योग भारती और कोटा व्यापार महासंघ ने राज्य सरकार से आग्रह किया है कि लॉकडाउन के दौरान औद्योगिक इकाइयों से लिए जाने वाला फिक्स चार्ज नहीं लिया जाए।

कोटा व्यापार महासंघ के अध्यक्ष क्रांति जैन, महासचिव अशोक माहेश्वरी और कोषाध्यक्ष राजेंद्र जैन ने बताया कि लघु उद्योग भारती की ओर से मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को एक पत्र लिखा है । उन्होंने कहा कि 21 दिनों का लॉक डाउन होने के कारण सभी औद्योगिक इकाइयों में उत्पादन ठप्प पड़ा है। वही लॉक डॉउन खत्म होने के बाद भी औद्योगिक इकाइयों को पटरी पर आने के लिए काफी समय लगेगा।

उन्होंने कहा कि इन परिस्थितियों में राज्य सरकार को आगे आकर सूक्ष्म एवं लघु उद्योगों को राहत प्रदान करना चाहिए। उन्होंने मुख्यमंत्री से आग्रह किया कि लॉक डाउन की अवधि के दौरान औद्योगिक इकाइयों से लिए जाने वाले फिक्स चार्ज को माफ किया जाए।

उन्होंने बताया कि औद्योगिक इकाइयों से हर महीने विद्युत बिल के साथ ओर रीको की ओर से फिक्स चार्ज लिया जाता है जो काफी अधिक होता है । उद्योग इकाइयों के बंद होने से पहले से ही इन उद्योगों पर काफी बड़ा आर्थिक संकट खड़ा हो गया है ऐसे में यदि राज्य सरकार लघु एवं सूक्ष्म उद्यमियों को राहत देते हुए यह फिक्स चार्ज में माफ करती हैं तो सूक्ष्म एवं लघु उद्यमों को आर्थिक संबल मिलेगा।