गूगल ने आयु एप को टॉप 16 स्टार्टअप्स में शामिल किया

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कोटा। कोटा के स्टार्टअप आयु एप ने एक और उपलब्धि हासिल की है। गूगल ने अपने स्टार्टअप एक्सेलेरेटर प्रोग्राम के लिए मेडकॉर्ड्स को देश के श्रेष्ठ 16 स्टार्टअप्स में चुना है। इसकी घोषणा गूगल द्वारा पिछले दिनों की गई। हाल ही में विश्वविख्यात पत्रिका फोर्ब्स में फीचर होने और पद्मश्री व बड़े बिजनसमैन संजीव बिखचंदानी द्वारा भी आयुएप को टॉप स्टार्टअप्स में शामिल करते हुए, इसे भविष्य में अच्छा काम करने वाला स्टार्टअप बताया था। इस सराहना के बाद एक बार फिर आयु एप फिर से प्रकाश में आया है।

मेडकॉर्ड्स के को-फाउंडर श्रेयांस मेहता, निखिल बाहेती व सैदा धनावत ने बताया कि यह आयु एप के साथ-साथ कोटा और राजस्थान के लिए भी गर्व की बात है। गूगल फॉर स्टार्टअप्स एक्सेलेरेटर (जीएफएसए) भारत और दुनिया में अत्याधुनिक तकनीक का उपयोग बढ़ाने के लिए स्टार्टअप्स की मदद करता है। इसके तहत तीन महीने का मेंटोरशिप व सपोर्ट प्रोग्राम भी दिया जाता है। अब तक इस प्रोग्राम के 4 चरण पूरे हो चुके हैं, हर चरण में चयनित स्टार्टअप्स की संख्या अलग होती है। यह पांचवे चरण के स्टार्टअप्स की घोषणा की गई है जिसमें मेडकॉर्ड्स को शामिल किया गया है। इस चरण के लिए 700 स्टार्टअप्स ने मार्च के माह में आवेदन किए थे, जिसमें से 16 को चुना गया।

आयु एप सहित ये हैं 16 स्टार्टअप्स
श्रेयांस मेहता ने बताया कि पांचवे गु्रप के 16 चयनित स्टार्टअप्स में अके साथ एकिनकेयर, एग्नेक्स्ट, गोल्स 101, ओकेक्रेडिट, नेमोकेयर वेलनेस, जिप इलेक्ट्रिक, बोलो लाइव (बोलो इंडिया), योडा, हाइपड, एलोएलो, एक्काकनेट, बुलेट, मेडकॉर्ड्स, लेगिटक्वेस्ट, केयर एक्सपर्ट व वालरस शामिल है।

क्या मिलेगा फायदा
गूगल द्वारा स्टार्टअप एक्सेलेरेटर प्रोग्राम में शामिल होने के बाद स्टार्टअप को मेंटोरशिप और सपोर्ट प्रोग्राम के तहत बहुत लाभ होंगे। इसमें मुख्यरूप से आगे बढ़ने के लिए वांछित मार्गदर्शन, तकनीकी दृष्टि से मशीनों के उपयोग, डिजाइनिंग, मोटिवेशनल और लीडरशिप प्रोग्राम के साथ-साथ नेटवर्किंग और पब्लिक रिलेशन को लेकर आधुनिकत तकनीक का उपयोग सिखाया जाएगा।

किस आधार पर किया शामिल
गूगल द्वारा जारी की गई रिपोर्ट के अनुसार स्टार्टअप्स का चयन विभिन्न मापदण्डों के आधार पर किया जाता है। इसमें अत्याधुनिक संसाधनों का उपयोग करते हुए स्टार्टअप की परिपक्वता का स्तर देखा जाता है। स्टार्टअप किन परिस्थितियों में कितना बेहतर काम कर रहा है। यही नहीं लोगों के लिए स्टार्टअप का समर्थन सार्थक साबित हो पा रहा है या नहीं। भविष्य में स्टार्टअप किस स्थिति में कहां तक उपयोगी साबित होगा। वर्तमान और भविष्य के हालातों को देखते हुए यह चयन किया गया है।

मेडकॉर्ड्स की लगातार उपलब्धियां
सैदा धनावत ने बताया कि आयु एप अपनी सेवाओं के बल पर भारत का बेहतर एप साबित हो रहा है। कोविड टाइम में देश का भरोसा जीता है। लॉकडाउन में दवा की दुकानों पर भीड़ से संक्रमण फैलने की स्थितियां बनी तो आयु एप के माध्यम से लोगों को घर बैठे परामर्श दिए गए और दवाओं की डिलीवरी भी की गई। लोगों को मदद मिलती गई और विश्वास बढ़ता जा रहा है। मेडकॉर्ड्स के को-फाउंडर श्रेयांश मेहता ने बताया कि हमारा लक्ष्य देश के हर व्यक्ति, परिवार को डिजिटल हेल्थ केयर उपलब्ध करवाना है। घर बैठे लोगों को इलाज व दवा पहुंचाना चाहते हैं ताकि अकेले व परेशान मरीज को आने के लिए तकलीफ नहीं उठानी पड़े।