नई दिल्ली। भारत का हीरा उद्योग घोटालों के दौर से गुजर रहा है। इस साल के शुरू में जहां हीरा व्यापारी नीरव मोदी और मेहुल चौकसी ने पंजाब नेशनल बैंक (PNB) में 14 हजार करोड़ रुपए के घोटाले को अंजाम दिया। वहीं, अब डायरेक्टरेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलिजेंस (DRI) ने खुलासा किया है कि कुछ लोग सस्ते रफ डायमंड्स को कई गुना ज्यादा कीमत में खरीदकर अपने काले धन को सफेद करने में जुटे हुए हैं।
एक अरेस्ट बाकी फरार
मामले की जानकारी रखने वाले डीआरआई के एक अधिकारी बताया कि इस तरह के हीरों का ज्यादातर आयात हांगकांग और दुबई से हो रहा है। अधिकारी के मुताबिक, कस्टम चेकिंग के दौरान पता चला कि इस तरह के कई ग्रुप हैं जो 3 से 4 करोड़ कीमत के हीरों को 100 करोड़ में खरीदकर अपने काले धन को सफेद करने में लगे हैं। इसके बाद ग्रुप के एक सदस्य को अरेस्ट कर लिया गया है, जबकि बाकी आरोपी फरार हैं।
मनी लॉन्डरिंग का हो सकता है मामला
डीआरआई अपनी जांच को आगे बढ़ाते हुए बैंक की स्टेटमेंट और ट्रांजैक्शन की डिटेल के जरिए इसमें लिप्त लोगों का पता लगाने में जुटी है। ऐसी आशंका है कि इससे मनी लाॅन्डरिंग के कई मामले जुड़े हो सकते हैं। वहीं, यह भी कहा जा रहा है कि पिछले कुछ साल में इस तरह से करीब 2000 करोड़ रुपए की मनी लॉन्डरिंग की गई है। हालांकि डीआरआई के एडिशनल डायरेक्टर ने मामले में कुछ नहीं कहा है। लेकिन सूत्रों के मुताबिक जांच जारी रहेगी।
पहले भी रोके थे कन्साइनमेंट
एंटी तस्करी एजेंसी की ओर से 10-11 जुलाई को भी जांच के बाद बीडीबी के 14 कन्साइनमेंट पर रोक लगा दी थी। ये कन्साइनमेंट मुंबई और सूरत के कुछ व्यापारियों ने हांगकांग से मंगाए थे, क्योंकि उस समय भी सामान की कीमत 100 से 150 गुना ज्यादा दिखाई गई थी।