ध्वजारोहण के साथ कोटा के ऐतिहासिक दशहरा मेले का शुभारंभ

0
839
दशहरा मेले के शुभारम्भ के मौके पर आयोजित रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम।

शहनाई वादन व कोटावासियों की करतल ध्वनि के बीच श्रीराम रंगमंच उदघाटन समारोह की बेला में गूंजता रहा

कोटा। नगर निगम की ओर से आयोजित राष्ट्रीय दषहरा मेला 2017 का गुरूवार शाम श्रीराम रंगमंच परिसर में झंडारोहण के साथ आगाज हुआ। इस दौरान राजस्थानी संस्कृति की छटा बिखरी। बड़ी संख्या में नागरिक इस उद्घाटन समारोह के साक्षी बने।

इससे पहले दोपहर को किशोरपुरा स्थित रियासतकालीन आशापुरा माता मंदिर में दुर्गापूजन कर माता को चुनरी चढ़ाई गई। 16 अक्टूबर तक चलने वाले इस मेले की मुख्य अतिथि कृषि मंत्री प्रभुलाल सैनी ने विधिवत घोषणा की। शहनाई वादन व कोटावासियों की करतल ध्वनि के बीच श्रीराम रंगमंच उदघाटन समारोह की इस बेला में गूंजता रहा।

मंत्री प्रभु लाल सैनी, सांसद ओम बिरला, विशिष्ट अतिथि विधायक भवानी सिंह राजावत, चंद्रकांता मेघवाल, हीरालाल नागर, विद्याशंकर नंदवाना, भाजपा अध्यक्ष हेमंत कृष्ण विजयवर्गीय, नगरविकास न्यास अध्यक्ष रामकुमार मेहता ने गुब्बारे छोड़ने की रस्म पूरी की। 

मुख्य अतिथि प्रभु लाल सैनी ने कहा कि मेला हमारी संस्कृति है। मेला दिलो का होता है यहा मुसाफिर आते जाते है। उन्होंने कहा कि ये मेला संस्कृति को जिंदा रखने का प्रतीक है। ये मेला नही कोटा की संस्कृति है। मेला इको फ्रेंडली हो। 

अध्यक्षता कर रहे सांसद ओम बिरला ने कहा कि मेले सांस्कृतिक आदान प्रदान का जरिया रहे है। पहले रावण मारने के बाद तीन दिन तक लोग यह ठहरते थे ओर अहंकार को मारते थे। अब समय बदल गया है। मेले का स्वरूप भी बदल गया है। विशिष्ट अतिथि विधायक चंद्रकांता मेघवाल ने कहा कि कोटा का मेला देश मे ही नहीं वरन अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी अपनी पहचान बना चुका हैं।

शुभारंभ समारोह के स्वागत भाषण में मेला अध्यक्ष राममोहन मित्रा बाबला ने कहा कि इस दफा दशहरा मेला आयोजन के लिए जगह तैयार करना हम सभी के लिए चुनौतीपूर्ण काम था, लेकिन सब के सकारात्मक प्रयास से मेला प्रांगण में ही आयोजन हो सका है।

महापौर महेश विजय ने कहा कि कोटा का ये दशहरा मेला लोक उत्सव है और हमारी संस्कृति का परिचायक भी हैं। सभी के अथक प्रयास से मेला इसी प्रांगण में भर सका है। अगले वर्ष मेले का स्वरूप और भी ज्यादा सुंदर और बेहद नजर आएगा। इस बार मेला भव्य व आकर्षक होगा। निगम आयुक्त डॉ विक्रम जिंदल ने आभार जताया। संचालन डॉ रेणु श्रीवास्तव ने किया।

ये लपको झपको की राजनीति: राजावत
विवादित बयानों के लिए अक्सर राजनीतिक गलियारों में सुर्खियों में रहने वाले विधायक भवानी सिंह राजावत ने कहा कि यह वैभवशाली संस्कृति का शुभारम्भ है। बहुत जल्दी कोटा की जनता का सपना साकार करेंगे। हेंगिंग ब्रिज उद्घाटन मामले लर भी खूब चुटकियां केते हुए कांग्रेस नेताओं पर जमकर कटाक्ष किया।

बोले, कोटा में हवाई सेवा के प्रणेता सांसद ओम बिरला ने दिल्ली में पीएम मोदी को भी मंत्र फूंका तो पीएम का पूरा भाषण ही कोटा के हेंगिंग ब्रिज पर केंद्रित रहा। मुशायरा बिरला जी ने लूट लिया, हम तो उदयपुर चले गए। इस दौरान दीर्घा परिसर ठहाको से गूँजता रहा। राजावत का भाषण यही नही रुका, वे बोले ये लपको ओर झपजो की राजनीति है, जो अब मेले में भी नजर आने लगी है।

आशापुरा मंदिर में दुर्गापूजन
मेला प्रचार प्रसार समिति के अध्यक्ष कृष्ण मुरारी सामरिया ने बताया कि गुरूवार दोपहर किषोरपुरा स्थित रियासतकालीन आषापुरा माता मंदिर में दुर्गापूजन किया गया। निगम प्रषासन की ओर से माता को चुनरी चढ़ाई गई।

मेला शुभारंभ की बेला के ये बने साक्षी
झंडारोहण समारोह में महापौर महेश विजय, उप महापौर सुनिता व्यास, नगर निगम आयुक्त डॉ. विक्रम जिंदल, मेला अधिकारी नरेश मालव, उपायुक्त राजेश डागा, अतिरिक्त मेला अधिकारी प्रेमशंकर  शर्मा, लेखाधिकारी टीपी मीणा, मेला समिति अध्यक्ष राममोहन मि़त्रा बाबला, नेता प्रतिपक्ष अनिल सुवालका, मेला समिति सदस्य महेश गौतम लल्ली मौजूद थे।  

रमेश चतुर्वेदी, नरेंद्र सिंह हाडा, प्रकाश सैनी, भगवान स्वरूप गौतम, प्रचार प्रसार समिति अध्यक्ष कृष्ण मुरारी सामरिया, विकास तंवर, मीनाक्षी खंडेलवाल, मोनू कुमारी, पार्षद रेखा जैन, दौलतराम मेघवाल, जगदीश सिंह मोहिल, विवेक राजवंशी, मोहम्मद हुसैन सहित अन्य प्रशासनिक अधिकारी, मेला समिति सदस्य, नगर निगम के अधिकारी, पार्षद, कर्मचारी व शहर के नागरिक बड़ी संख्या में सरीक हुए।