गोरखपुर। अब तक के उच्चतम कीमत पर बिक रहे बादाम के दाम में बड़ी गिरावट आई। महज तीन दिन में बादाम (रेगुलर दाना) के दाम में प्रतिकिलो 250 रुपये की कमी आई है। थोक मंडी में 1000 रुपये किलो बिक रहा बादाम अब 750 रुपये पर आ गया है। अचानक हुई इतनी बड़ी गिरावट से थोक कारोबारियों को लाखों रुपये का नुकसान हुआ है। दरअसल आगामी त्योहारों को देखते हुए कारोबारियों ने बड़े पैमाने पर बादाम मंगवाए थे। दाम बढ़ने और एकाएक कम होने लिए कारोबारी सटोरियों को जिम्मेदार मान रहे हैं।
750 रुपये हुआ बादाम
जून के अंतिम सप्ताह से बादाम के दाम बढ़ने शुरू हुए तो बताया गया कि अमेरिका के कैलीफाेनिया में बादाम की फसल 30 फीसद कम हुई है। यही वजह है कि बादाम की कीमतें बढ़ रही हैं। अगस्त के तीसरे सप्ताह तक बादाम के दाम में 300 रुपये प्रति किलो बढ़ोतरी हो चुकी थी। त्योहारों से पहले दाम बढ़ने और फिर 250 रुपये प्रतिकिलो की गिरावट आने से सूखे मेवे के कारोबारी हैरान हैं। साहबगंज के थोक कारोबारी कृष्ण कुमार ने बताया कि अचानक भाव गिरने से बहुत से कारोबारियों को नुकसान हुआ है। दाम और न बढ़ जाए इसके लिए सभी ने ज्यादा माल मंगवाया था, लेकिन सटोरियों ने खेल कर दिया। दूसरी तरफ अफगानिस्तान में अस्थिरता की वजह से वहां से आने वाले अंजीर, मुनक्का, कंधारी किशमिश में तेजी का रुख जारी है। एक माह में 10 से 13 फीसद तक दाम बढ़ चुके हैं।
200 के करीब पहुंचा सरसों का तेल
कोरोना संकट से जूझ रही जनता को महंगाई की दोहरी मार झेलनी पड़ रही है। बारिश के कारण जहां सब्जियां बहुत महंगी हाे गई हैं वहीं दूसरी तरफ सरसों का तेल अब तक के उच्चतम कीमत पर पहुंच गया है। रविवार को थोक मंडी में सरसों का तेल 170 से 177 तो फुटकर में 190 रुपये लीटर तक पहुंच गया है। इससे पहले मई में सरसों का तेल 185 रुपये लीटर बिका था, लेकिन सरकार की सख्ती की वजह से दाम में प्रति लीटर 30 रुपये तक कमी आई थी।
व्यापारी दाम बढ़ने के लिए वायदा कारोबार, सटोरियों तथा खाद्य तेलों पर लगने वाले आयात शुल्क को जिम्मेदार मान रहे हैं। दूसरी तरफ पाम आयल में हल्की गिरावट आई है। रविवार काे थोक मंडी में नेपाली पाम आयल 123 तथा भारतीय पाम आयल 126 रुपये लीटर बिका, जबकि दो दिन पहले 127 एवं 130 रुपये था। तेल कारोबारी संजय कुमार ने बताया कि नेपाली पाम आयाल के बाजार में आने से दाम में मामूली गिरावट आई है।