कर्मयोगी सेवा संस्थान के मुख्यालय पर सरदार बल्लभ भाई पटेल की प्रतिमा स्थापित

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कोटा। कर्मयोगी सेवा संस्थान के नयापुरा स्थित मुख्यालय कर्मयोगी भारत भवन पर राजस्थान के निर्माणकर्ता सरदार बल्लभ भाई पटेल की 3 फुट की प्रतिमा स्थापित की गई। कर्मयोगी सेवा संस्थान के अध्यक्ष राजाराम जैन कर्मयोगी ने बताया कि यहां 45 फीट की ऊंचाई पर राजस्थान दिवस के अवसर पर शाम 6 बजे स्थापित की गई।

संयोजिका अलका दुलारी जैन कर्मयोगी ने बताया कि विशेष संयोग की बात यह है कि यह प्रतिमा अलवर के कारीगरों ने ही निर्मित किया है। राजस्थान के एकीकरण की पहल 18 मार्च 1948 को अलवर से शुरू हुई। राजस्थान के एकीकरण की प्रक्रिया कुल 7 चरणों में 1 नवंबर 1956 को पूर्ण हुई।

भारत के प्रथम उप प्रधानमंत्री गृहमंत्री सरदार वल्लभ भाई पटेल ने 562 छोटी- बड़ी रियासतों को भारतीय संघ में मिलाकर नए भारत का निर्माण किया। विश्व के इतिहास में एक भी व्यक्ति ऐसा नहीं हुआ। जिसने इतनी बड़ी संख्या में राज्यों का एकीकरण करने का साहस किया हो। उनके इस साहसिक कार्य के कारण ही उन्हें लौह पुरुष की उपाधि दी गई। कर्मयोगी सेवा संस्थान मुख्यालय पर 48 महापुरुषों की प्रतिमाएं मई माह तक किया जाना सुनिश्चित किया गया है।

इनमें से 12 प्रतिमाएं कोटा पहुंच चुकी हैं। शेष सभी प्रतिमाओं का निर्माण कार्य अलवर में जारी है। इस अवसर पर कर्मयोगी सेवा संस्थान कोटा उत्तर अध्यक्ष अनिल कुमार शर्मा के नेतृत्व में, लक्ष्मी नारायण गर्ग, कमल कांत सक्सेना, जितेंद्र जैन, दिनेश मेघवाल द्वारा सरदार बल्लभ भाई पटेल अमर रहे के जयकारों के साथ माल्यार्पण कर प्रतिमा स्थापित की गई।