भारत की विकास दर माइनस 0.40 फीसदी का रहने का अनुमान

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नई दिल्ली। कोरोना संकट के बीच भारतीय अर्थव्यवस्था की सेहत लगातार कमजोर होती जा रही है। मूडीज ने कहा कि इस वित्त विकास दर जीरो रहेगी वहीं दो ब्रोकरेज फर्म का मानना है कि 2020-21 में भारतीय अर्थव्यवस्था की विकास दर नकारात्मक हो जाएगी। जापानी ब्रोकरेज फर्म नोमुरा और अमेरिकी फर्म गोल्डमैन सैक्श के मुताबिक, इस साल विकास दर माइनस 0.40 फीसदी पर पहुंच सकती है।

नोमुरा ने कहा कि अगर हालात नहीं बदले तो रेटिंग एजेंसियां भारत की रेटिंग को घटा देंगे। बता दें कि मूडीज ने नवंबर 2019 में ही भारत के रेटिंग आउटलुक को स्थिर से घटाकरक नकारात्मक कर दिया था। हालांकि रेटिंग को बीएए2 पर बनाए रखा था।

रीपो रेट में 1 फीसदी की होगी कटौती
गोल्डमैन सैक्श का कहना है कि रिजर्व बैंक बहुत जल्द रीपो रेट में 1 फीसदी तक की कटौती करेगा। इससे पहले 27 मार्च को आरबीआई ने रीपो रेट में 75 बेसिस पॉइंट्स की भारी कटौती की थी। उसे 5.15 फीसदी से घटाकर 4.40 फीसदी कर दिया गया था।

2020-21 में विकास दर माइनस 0.40 फीसदी रहेगी
नोमुरा ने कहा कि साल-दर-साल आधारित 2020 में विकास दर में माइनस 0.50 फीसदी दर्ज की जाएगी, जबकि वित्त वर्ष 2020-21 में यह माइनस 0.40 फीसदी रहेगी।

जीएस ने भी माइनस में विकास दर का अनुमान जताया
गोल्डमैन सैक्श ने भी अनुमान जताया कि इस साल विकास दर माइनस 0.40 फीसदी रहेगी। उसने अपनी रिपोर्ट में कहा कि दूसरी तिमाही में विकास दर माइनस 0.20 फीसदी रहेगी। तीसरी तिमाही में विकास दर 0.10 फीसदी और चौथी में 0.14 फीसदी रहेगी।