नई दिल्ली। बेनामी संपत्ति के खिलाफ की जा रही कार्रवाई के दौरान इस साल के पहले छह महीनों में 4,300 करोड़ रुपये से अधिक की संपत्ति जब्त की जा चुकी है। बेनामी संपत्ति के खिलाफ सरकार की कार्रवाई जारी है। संसद को दी गई जानकारी में सरकार ने बताया कि इस साल 30 जून तक आयकर विभाग 4,300 करोड़ रुपये से अधिक की बेनामी संपत्ति को जब्त कर चुका है।
वित्त राज्य मंत्री शिव प्रताप शुक्ला ने राज्यसभा को दी गई लिखित जानकारी में बताया कि सरकार ने बेनामी संपत्ति की पहचान के लिए कई कदम उठाए हैं और आयकर विभाग ने देश भर में इस काम को अंजाम देने के लिए 24 बेनामी निषेध केंद्रों की शुरुआत की है।
शुक्ला ने कहा, ’30 जून 2018 तक 1,600 बेनामी लेनदेन की जब्ती की गई है, जिनका मूल्य 4,300 करोड़ रुपये से अधिक है।’ गौरतलब है कि बेनामी कानून 2016 के बाद इस तरह की संपत्तियों की जब्ती में तेजी आई है। शुक्ला ने एक अन्य जवाब में बताया कि सरकार को विदेशी कंपनियों से मिलने वाले टैक्स कलेक्शन में भी इजाफा हुआ है।
शुक्ला ने कहा कि 2017-18 के दौरान सरकार को विदेशी कंपनियों से 27,561 करोड़ रुपये मिले जो कि पिछले साल के 24,541 करोड़ रुपये से अधिक है। गौरतलब है कि बेनामी संपत्ति की धरपकड़ मोदी सरकार के प्रमुख एजेंडे में शामिल रहा है। सरकार इस तरह की संपत्ति के बारे में जानकारी देने के लिए ईनामी योजना का भी ऐलान कर चुकी है। इस योजना के तहत बेनामी संपत्ति के बारे में जानकारी देने वाले किसी व्यक्ति को एक करोड़ रुपये तक का इनाम दिया जा सकता है।