कोटा। जिले में ग्राम सेवा सहकारी समितियों के कर्जदार किसानों का 50 हजार रुपए तक का कर्ज माफ होगा। इसकी शुरुआत बूंदी रोड स्थित नांदना ग्राम सेवा सहकारी समिति पर सोमवार को आयोजित कर्जमाफी पायलट शिविर से होगी। शिविर सुबह 11 बजे से शुरू होगा। शिविर में किसानों को कर्ज माफी का प्रमाण पत्र दिया जाएगा। शिविर में कृषि मंत्री प्रभुलाल सैनी भी मौजूद रहेंगे, जो किसानों को प्रमाण पत्र सौंपेंगे।
दी कोटा सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक के रिकॉर्ड के अनुसार जिले में 56776 किसानों पर वर्तमान में 540 करोड़ रुपए का अल्पकालीन फसली ऋण है। योजना के फर्स्ट फेज में डीओआईटी के साफ्टवेयर में 50534 लघु, सीमांत व मध्यमवर्गीय किसानों की स्क्रूटनी हुई है। मतलब उक्त किसानों का कर्जमाफी के पहले चरण के शिविरों में 211 करोड़ 99 लाख रुपए का कर्जा सरकार माफ करेगी। ऐसे में किसानों पर 328.01 करोड़ रुपए का कर्जा रहेगा। जो उन्हें चुकाना होगा।
जबकि किसान उपज का उम्मीद के बराबर सही दाम नहीं मिलने से मायूस हैं। सरकार ने 12 फरवरी को बजट घोषणा में कर्जमाफी की घोषणा की। करीब चाह माह बाद भी सरकार जिले के 56776 कर्जदार किसानों में से 6242 किसानों का सत्यापन नहीं कर पाई। एमडी बलविंदर सिंह गिल ने कहा कि 2221 किसानों का 10 से 15 दिन में डाटा तैयार कर लिया जाएगा। बाकी 2649 किसान मृतक हो चुके। 823 किसानों के पास आधार कार्ड नहीं है। 549 किसान लापता हैं, जिनका सत्यापन किया जा रहा है।
ग्राम पंचायतों से उनका रिकॉर्ड निकलवाया जा रहा है। इसके बाद ही 6242 किसानों को सरकार की कर्जमाफी का लाभ मिल पाएगा। नांदना ग्राम सेवा सहकारी समिति में पायलट शिविर लगेगा। यहां गोरधनपुरा समिति के किसानों की भी कर्जमाफी होगी।
लहसुन का समर्थन मूल्य घोषित करे सरकार’
हाड़ौती किसान यूनियन ने केंद्र व राज्य सरकार से मांग की है कि वह लहसुन उत्पादक किसानों को आत्महत्या करने से बचाना है तो लहसुन का समर्थन मूल्य घोषित किया जाए। यूनियन की ओर से उक्त प्रस्ताव नीति आयोग को दिया जा चुका है। रविवार को प्रेसवार्ता में यूनियन के महामंत्री दशरथ कुमार ने कहा लहसुन का दाम कभी स्थिर नहीं रहते हैं। जब दाम घट जाते हैं तो किसान अगले साल दामों में उछाल आने की उम्मीद लगाते हुए लहसुन बुवाई ज्यादा करता है।
ज्यादा उत्पादन होने पर लहसुन के भाव किसानों को उम्मीद के बराबर नहीं मिलता है। पिछले दो सालों से कोटा संभाग के किसानों को लहसुन के भाव कम मिल रहे हैं। ऐसे में 10 किसान आत्महत्या कर चुके हैं। 1 किसान की मौत कम भाव के सदमे से हो चुकी। लहसुन के भावों को स्थिर करने के लिए सरकार फसल का समर्थन मूल्य घोषित करे।
10 जून को हाड़ौती बंद, दूध व सब्जी की सप्लाई रोकेंगे
10 जून को संघर्ष समिति ने हाड़ौती बंद करेगी। संभाग के प्रमुख कस्बों में दूध व सब्जी की सप्लाई रोकी जाएगी। कोटा में फल सब्जीमंडी को बंद की जाएगी।