नई टैक्नोलॉजी पर काम करें, केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी कीअफसरों को सलाह

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'रिपेयर, रिहैबिलिटेशन एंड रेट्रो फिटिंग ऑफ ब्रिजेज एंड स्ट्रक्चर' सेशन के उद्घाटन समारोह को सम्बोधित करते नितिन गडकरी।

जयपुर। अधिकारियों को घिसी पीटी पुरानी टैक्नोलॉजी को छोड़ कर नई लेटेस्ट इनोवेटिव टैक्नोलॉजी पर काम करना चाहिए। इसमें वे विदेशी टैक्नोलॉजी को भी अपना सकते हैं। सरकार नई टैक्नोलॉजी को अपनाने के लिए तैयार है, लेकिन इसके लिए अधिकारियों को माइंडसेट बदलना होगा।

कुछ अधिकारी नया करना चाहते हैं, लेकिन वे उच्च अधिकारियों के दबाव की वजह से नहीं कर पा रहे हैं। नई सोच-दिशा पर काम करने वाले अधिकारियों को आगे आना चाहिए। विभाग में अभी भी बॉस इज ऑलवेज राइट की प्रथा बनी हुई है।

इस वजह से नई सोच-दिशा में काम नहीं हो पा रहा है। इस इसे बदलना चाहिए। यह कहना है केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी का।  गडकरी शुक्रवार को ‘रिपेयर, रिहैबिलिटेशन एंड रेट्रो फिटिंग ऑफ ब्रिजेज एंड स्ट्रक्चर’ सेशन का उद्घाटन समारोह में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि अधिकारी विदेशों में जाते हैं।

विदेशी डेलीगेशन से मिलते है, उनसे नई टैक्नोलॉजी के बारे में चर्चा करते हैं, लेकिन वह देश में लागू नहीं हो रही है। उन्होंने कहा कि सरकार क्वालिटी विंग, टीम वर्क, जल्दी काम और भ्रष्टाचार मुक्त काम कर रही है।

पहली बार ब्रिजों का डेटा एकत्र
गडकरी ने कहा कि सरकार ने पहली बार इंडियन ब्रिज मैनेजमेंट सिस्टम के माध्यम से नेशनल हाइवे पर बने ब्रिजों का डेटा एकत्रित किया है।

इसमें 1.70 लाख ब्रिज सामने आए हैं। इसमें से 23 ब्रिज 100 साल और 1626 ब्रिज 50 साल पुराने हैं। 147 जर्जर अवस्था में हैं। 6700 ब्रिजों की मरम्म्त की जाएगी। इनमें से ऐसे ब्रिज जो 30% डेमेज हैं, उन्हें सुधार करके नए सिरे से बनाया जाएगा।