नई दिल्ली। हाल ही में Youtube यानी दुनिया के सबसे बड़े विडियो स्ट्रीमिंग प्लैटफॉर्म के यूजर्स के अकाउंट बड़ी संख्या में हैक कर लिए गए। इन हैकर फोरम और इसी तरह की दूसरी साइट्स ने हजारों यूट्यूब यूजर्स के अकाउंट में सेंध लगा दी। ये साइबर क्रिमिनल्स लॉगिन डेटा की बड़ी लिस्ट ऑफर कर रहे हैं। इनमें हर अकाउंट के सब्सक्राइबर्स की संख्या का बैकअप भी शामिल है।
हैकर्स काफी समय से किसी यूट्यूब चैनल को हैक करने की अहमियत जानते हैं। इस तरह के साइबर अटैक से उन्हें नई ऑडियंस का फायदा मिलता है जिन्हें वे फ्रॉड स्कीम और मैलिशस ऐड कैंपेन के लिए निशाना बना सकते हैं।
चैनल के मालिक से मांगा जाता है पैसा
इसके अलावा हैक होने वाले अकाउंट्स को कई और तरह से भी इस्तेमाल किया जता है। उदाहरण के लिए, कुछ अटैकर्स यूट्यूब चैनल्स को हैक करते हैं और फिर उसके मालिक से पैसे की डिमांड करते हैं। अगर किसी यूजर के सब्सक्राइबर्स की संख्या अच्छी-खासी होती है और वह विडियो प्लैटफॉर्म से पैसे कमाता है तो ऐसी स्थिति में वह पैसा दे देता है। बता दें कि IntSights की एक रिपोर्ट में दावा किया गया है कि हैकर्स की वेबसाइट्स पर हैक किए गए यूट्यूब अकाउंट्स ऑफर्स के साथ बिक्री के लिए उपलब्ध हैं।
निश्चित तौर पर यूट्यूब अकाउंट की कीमत उस चैनल के सब्सक्राइबर्स की संख्या पर निर्भर करती है। सब्सक्राइबर्स ही किसी अकाउंट की वैल्यू का निर्धारण करते हैं। उदाहरण के लिए अगर किसी चैनल के पास 2 लाख सब्सक्राइबर्स हैं तो उसकी कीमत 1 हजार डॉलर (करीब 75 हजार रुपये) होगी।
बता दें कि हैकर्स चैनल को हैक करने के लिए सोशल-इंजीनियरिंग का सहारा लेते है। साइबरक्रिमिनल्स किसी तरह चैनल ओनर से मैलवेयर डाउनलोड करवाकर इंस्टॉल करवा देते हैं। और इस तरह यूट्यूब अकाउंट में सेंध लगाने में कामयाब हो जाते हैं।