भजनलाल सरकार ने 10 साल पुराने केस में विधायक शांति धारीवाल को दी क्लीन चिट

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यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल।

जानिए क्या था मामला

जयपुर। राजस्थान के एकल पट्टा मामले में चल रही राजनीति पर रविवार को विराम लग गया। 10 साल पुराने इस केस में विधायक शांति धारीवाल सहित तीन अधिकारियों को भजनलाल सरकार ने क्लीन चिट दे दी है।

बता दें कि वसुंधरा राजे सरकार की ओर से पूर्ववर्ती सरकार पर भ्रष्टाचार और सरकारी खजाने को वित्तीय नुकसान पहुंचाने का आरोप लगाया गया था। इस मामले में तत्कालीन यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल पर पूरी तरह नियनों की पालना नहीं करने का आरोप लगाया गया था। अब इस केस में सरकार वर्तमान राज्य सरकार ने किसी भी तरह का वित्तीय नुकसान नहीं होने की जानकारी कोर्ट को दी है।

दरअसल 29 जून 2011 में जयपुर विकास प्राधिकरण ने गणपति कंस्ट्रक्शन के प्रोपराइटर शैलेंद्र गर्ग के नाम पर एकल पट्टा जारी किया था। इसकी शिकायत एसीबी में रामशरण सिंह नाम के व्यक्ति ने की थी। एसीबी में शिकायत के बाद तत्कालीन एसीएस जी एस संधु, डिप्टी सचिव निष्काम दिवाकर, जोन उपायुक्त ओंकारमल सैनी , शैलेंद्र गर्ग और दो अन्य आरोपियों को अरेस्ट किया गया। इनके खिलाफ एसीबी कोर्ट ने चालान पेश किया था। इसके बाद जब मामले ने तूल पकड़ा तो एकल पट्टा निरस्त कर दिया गया। वहीं इस मामले में एसीबी ने उस वक्त के मंत्री शांति धारीवाल से भी पूछताछ की थी। लेकिन अब भजनलाल सरकार ने इस मामले में सभी को क्लीन चिट दे दी है।

इस मामले में सबसे दिलचस्प बात यह है कि लोकसभा चुनाव के बीच पूरे मामले में सरकार ने अपना जबाव पेश किया है। 22 अप्रेल को कोर्ट में राज्य सरकार ने जवाब पेश किया है। सुप्रीम कोर्ट में भजनलाल सरकार ने कहा कि इस मामले के सभी आरोपियों को क्लीन चिट दे दी है। सरकार ने कहा कि एकल पट्टा में कोई मामला नहीं बनता है।