फेड रिजर्व की ब्याज दर व वैश्विक रुझानों से तय होगी शेयर बाजार की दिशा

0
62

नई दिल्ली। Stock Market Direction: अमेरिकी केंद्रीय बैंक के ब्याज दर पर निर्णय, वैश्विक बाजारों के रुझान और विदेशी निवेशकों की गतिविधियां इस सप्ताह शेयर बाजारों की दिशा तय करेंगी। विश्लेषकों ने यह राय जताई है। ‘गणेश चतुर्थी’ के उपलक्ष्य में मंगलवार को शेयर बाजार बंद रहेंगे। वैश्विक मोर्चे पर बैंक ऑफ इंग्लैंड और बैंक ऑफ जापान के ब्याज दर पर निर्णय से भी बाजार को दिशा मिलेगा।

स्वस्तिका इन्वेस्टमार्ट लिमिटेड के वरिष्ठ तकनीकी विश्लेषक प्रवेश गौर ने कहा, ‘‘यह सप्ताह मौद्रिक नीति वाला होगा। फेडरल रिजर्व के नीति-निर्माताओं ने फेडरल ओपन मार्केट कमेटी (FOMC) की बैठक बुलाई है और ब्याज दर पर निर्णय की घोषणा बुधवार यानी 20 सितंबर को होगी।’’ गौर ने कहा, ‘‘डॉलर के मुकाबले रुपये की चाल, अमेरिकी में बॉन्ड प्रतिफल और कच्चे तेल की कीमतें भी बाजार की दिशा के लिए महत्वपूर्ण रहेंगी।’’

पिछले सप्ताह बीएसई का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 1,239.72 अंक या 1.86 प्रतिशत के लाभ में रहा। नेशनल स्टॉक का निफ्टी 372.4 अंक या 1.87 प्रतिशत चढ़ गया। शुक्रवार को लगातार 11वें कारोबारी सत्र में सेंसेक्स लाभ में रहा और 319.63 अंक या 0.47 प्रतिशत की छलांग के साथ 67,838.63 के रिकॉर्ड स्तर पर बंद हुआ। दिन में कारोबार के दौरान यह 408.23 अंक या 0.60 प्रतिशत बढ़कर 67,927.23 के अपने नए सर्वकालिक उच्चस्तर पर पहुंचा।

शुक्रवार को निफ्टी 89.25 अंक या 0.44 प्रतिशत बढ़कर 20,192.35 के अपने रिकॉर्ड स्तर पर बंद हुआ। दिन में कारोबार के दौरान यह 119.35 अंक या 0.59 प्रतिशत बढ़कर 20,222.45 के अपने सर्वकालिक उच्चस्तर तक गया।

जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा, ‘‘निवेशकों की निगाह अब आगामी आंकड़ों तथा इस सप्ताह होने वाली केंद्रीय बैंक की बैठकों पर रहेगी। सप्ताह के दौरान फेडरल रिजर्व के अलावा बैंक ऑफ इंग्लैंड और बैंक ऑफ जापान द्वारा ब्याज दरों पर निर्णय की घोषणा की जाएगी।’’ इसके अलावा वैश्विक स्तर पर कच्चे तेल के दाम और रुपये का उतार-चढ़ाव भी बाजार की दृष्टि से महत्वपूर्ण रहेगा।

मास्टर कैपिटल सर्विसेज के वरिष्ठ उपाध्यक्ष अरविंदर सिंह नंदा ने कहा, ‘‘आगामी दिनों में बाजार कुछ बड़े वृहद आर्थिक आंकड़ों… मसलन अमेरिका के एसएंडपी वैश्विक विनिर्माण और सेवा पीएमआई, बेरोजगारी दावे, कच्चे तेल के भंडार, एफओएमसी की टिप्पणी, फेडरल रिजर्व के ब्याज दर पर निर्णय, ब्रिटेन की मुद्रास्फीति, यूरो क्षेत्र की महंगाई पर प्रतिक्रिया देगा।’’