नई दिल्ली । वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) के अंतर्गत जिन व्यवसायों ने जुलाई-सितंबर तिमाही में कंपोजीशन स्कीम का विकल्प चुना है, वो अपना पहला जीएसटी रिटर्न जल्द ही दाखिल कर पाएंगे। गौरतलब है कि 1 जुलाई 2017 से लागू हुए जीएसटी के अंतर्गत 15 लाख व्यवसायों ने कंपोजीशन स्कीम का चयन किया था।
जीएसटी नेटवर्क के सीईओ प्रकाश कुमार ने बताया, “हम जीएसटीआर-4 के साथ तैयार हैं, जिसका इस्तेमाल कंपोजीशन स्कीम लेने वाले रिटर्न दाखिल करने के लिए करेंगे। इसकी सुविधा जल्द ही जीएसटीएन पोर्टल पर उपलब्ध होगी।”
जीएसटी के नियमों के मुताबिक 75 लाख रुपए के सालाना टर्नओवर वाले ऐसे कारोबारी जिन्होंने कंपोजीशन स्कीम के विकल्प को चुना है जुलाई-सितंबर महीने के लिए तिमाही रिटर्न जल्द ही दाखिल कर पाएंगे और कर का भुगतान कर पाएंगे।
किनके लिए है कंपोजीशन स्कीम:
कंपोजीशन स्कीम की सुविधा सिर्फ व्यापारियों, मैन्यूफैक्चरिंग यूनिटों और रेस्तरां सेवा प्रदाताओं को ही प्राप्त है। इसके तहत पंजीकृत व्यापारियों को अपने टर्नओवर का मात्र एक प्रतिशत और मैन्यूफैक्चरर को दो प्रतिशत जीएसटी का भुगतान करना होता है।
वही रेस्तरां सेवा प्रदान करने वाले व्यवसायियों को इस स्कीम के तहत पांच प्रतिशत की दर से जीएसटी अदा करना होता है। कंपोजीशन स्कीम में पंजीकृत व्यापारियों को सबसे बड़ी सुविधा यह है कि उन्हें हर माह जीएसटी का रिटर्न दाखिल नहीं करना पड़ता।
वे तीन माह में सिर्फ एक बार जीएसटी रिटर्न दाखिल कर सकते हैं। हालांकि कंपोजीशन स्कीम के तहत पंजीकृत व्यापारी अंतरराज्यीय बिक्री नहीं कर सकते। वैसे तंबाकू उत्पाद बनाने वाली यूनिटों को कंपोजीशन स्कीम की सुविधा नहीं मिल सकती है।