नीट में सबसे ज्यादा सफलता यूपी के छात्रों को मिली, टॉप 50 में कर्नाटक सबसे आगे

0
235

नई दिल्ली। देश की सबसे बड़ी परीक्षा मेडिकल प्रवेश परीक्षा नीट-यूजी का रिजल्ट (NEET Result 2022) जारी कर दिया गया है। इस परीक्षा में 18.72 लाख छात्रों ने रजिस्ट्रेशन किया और 17,64,571 छात्र परीक्षा में बैठे, जिसमें से 9,93,069 को क्वालीफाई घोषित किया गया है।

नीट क्वालीफाई करने वालों में 5,63,902 छात्राएं, 4,29,160 छात्र और 7 ट्रांसजेंडर हैं। ओबीसी कैटिगरी के 4,47,753 कैंडिडेट क्वालीफाई हुए हैं। एससी कैटिगरी में 1,31,767, एसटी कैटिगरी में 47,295, जनरल कैटिगरी में 2,82,184 और ईडब्ल्यूएस कैटिगरी में 84,070 कैंडिडेट क्वालीफाई हुए हैं।

पीडब्ल्यूडी कैटिगरी में 6102 कैंडिडेट ने एग्जाम दिया और इनमें से 2717 क्वालीफाई हुए हैं। साल 2021 में 1544275 छात्र नीट में बैठे थे, जिसमें से 8,70,074 क्वालीफाई हुए थे। भारत के 991629 कैंडिडेट्स सफल रहे है। 424 विदेशी और 558 एनआरआई छात्र सफल रहे हैं।

किन राज्यों के कितने कैंडिडेट हुए क्वालीफाई
महाराष्ट्र के 113812 कैंडिडेट्स ने नीट एग्जाम क्वालीफाई किया है। उत्तर प्रदेश के 117316, राजस्थान के 82548, बिहार के 55709, गुजरात के 41901, हरियाणा के 26666, केरल के 64034, आंध्र प्रदेश के 40344, दिल्ली के 35113, पश्चिम बंगाल के 50864, हिमाचल प्रदेश के 10129, मध्यप्रदेश के 40170, उड़ासी के 26279, कर्नाटक के 72262, जम्मू- कश्मीर के 20005, पंजाब के 10533 छात्रों ने नीट एग्जाम क्वालीफाई किया है। देश के मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस, बीडीएस व संबंधित कोर्सेज में एडमिशन के लिए यह एग्जाम आयोजित किया जाता है।

इंग्लिश में सबसे ज्यादा छात्र
नीट एग्जाम 13 भाषाओं में हुआ। इंग्लिश भाषा से सबसे ज्यादा 78.83 छात्रों ने एग्जाम दिया। हिंदी भाषा से नीट देने वालों की संख्या 13.82 प्रतिशत रही। असम में 0.22 प्रतिशत, बंगाली में 2.28 प्रतिशत, गुजराती में 2.65 प्रतिशत, कन्नड में 0.06 प्रतिशत और मराठी में 0.13 प्रतिशत ने एग्जाम दिया। हिंदी में एग्जाम देने वालों की संख्या 2022 में सबसे ज्यादा रहे हैं। 2017 में 1.2 लाख ने हिंदी में एग्जाम देना चुना था, जो इस बार यह संख्या 2.5 लाख है। नीट यूजी एग्जाम में हर साल छात्रों की संख्या में बढ़ोतरी हो रही है।

2017 में 11.4 लाख आवेदक थे और इस साल यह संख्या 18 लाख से ज्यादो हो गई है। इस एग्जाम के जरिए एमबीबीएस, बीडीएस, बैचलर ऑफ आयुर्वेद मेडिसिन एंड सर्जरी (बीएएमएस), बैचलर ऑफ यूनानी मेडिसिन एंड सर्जरी (बीयूएमएस), बैचलर ऑफ होम्योपैथिक मेडिसिन एंड सर्जरी (बीएचएमएस) जैसे कोर्सेज में एडमिशन होता है। महाराष्ट्र से सबसे ज्यादा 2.5 लाख छात्रों ने आवेदन किया था। उसके बाद उत्तर प्रदेश से 2.1 लाख कर्नाटक से 1.3 लाख, केरल से 1.2 लाख, राजस्थान से 1.4 लाख, तमिलनाडु से 1.4 लाख ने आवेदन किया है। करीब 55 प्रतिशत आवेदन करीब इन छह राज्यों से हुआ था। यह एग्जाम 497 शहरों में हुआ, जिसमें 14 शहर देश से बाहर थे।

टॉप 50 में कर्नाटक के 9, दिल्ली व गुजरात के 5-5 कैंडिडेट्स हैं। पश्चिम बंगाल, आंध्र प्रदेश से 4-4, राजस्थान, तेलंगाना, महाराष्ट्र, तमिलनाडु के 3-3 कैंडिडेट्स इस लिस्ट में आए हैं। मध्यप्रदेश, हरियाणा से 2-2 कैंडिडेट, पंजाब, जम्मू- कश्मीर, गोवा, उत्तरप्रदेश, उड़ीसा, छत्तीसगढ़, केरल से 1-1 कैंडिडेट टॉप लिस्ट में है।