इंदौर। सोया खली और इससे बने उत्पादों का निर्यात जुलाई में लगभग 237 प्रतिशत बढ़कर 98,000 टन पर पहुंच गया। जुलाई 2016 में देश से इन उत्पादों का निर्यात 29,000 टन के स्तर पर रहा था।
प्रसंस्करणकर्ताओं के इंदौर स्थित संगठन सोयाबीन प्रोसेसर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया सोपा के कार्यकारी निदेशक डीएन पाठक ने आज यह जानकारी दी।
पाठक ने बताया कि मौजूदा विा वर्ष में अप्रैल से जुलाई के बीच देश से सोया खली और इससे बने उत्पादों के निर्यात का आंकड़ा 4.69 लाख टन रहा जो पिछले विा वर्ष की इस अवधि में इनके 1.19 लाख टन के निर्यात से करीब 294 प्रतिशत अधिक है।
तेल विपणन वर्ष (अक्तूबर 2016 से सितंबर 2017 तक) में अक्तूबर से जुलाई के बीच देश के सोया खली और इससे बने उत्पादों का निर्यात 373 प्रतिशत के बड़े उछाल के साथ 16.46 लाख टन पर पहुंच गया।
पिछले तेल विपणन वर्ष की समान अवधि में देश से इन उत्पादों का निर्यात 3.48 लाख टन के स्तर पर रहा था।सोया खली वह उत्पाद है, जो प्रसंस्करण इकाइयों में सोयाबीन का तेल निकाल लेने के बाद बचा रह जाता है।
यह उत्पाद प्रोटीन का बड़ा स्रोत है। इससे सोया आटा और सोया बड़ी जैसे खाद्य उत्पादों के साथ पशु आहार तथा मुर्गयिों का दाना भी तैयार किया जाता है।