नई दिल्ली। देश के सबसे बड़े सरकारी बैंक भारतीय स्टेट बैंक (SBI) ने अपने करोड़ों ग्राहकों को बड़ा तोहफा दिया है। SBI ने बचत खातों और छोटी अवधि के लोन की ब्याज दरों को रेपो रेट से लिंक करने का फैसला किया है। SBI के इस फैसले का मकसद भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की ओर से तय किए गए रेपो रेट का लाभ तुरंत ग्राहकों को पहुंचाना है। ऐसा करने वाला SBI देश का पहला बैंक बन गया है।
SBI की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि नया फैसला 1 मई 2019 से लागू हो जाएगा। SBI के बचत खातों पर 3.50 फीसदी सालाना की दर से ब्याज मिलता है। जबकि रिजर्व बैंक को ओर से रेपो रेट 6.25 फीसदी तय किया है। SBI के नए फैसले के बाद बचत खातों पर ब्याज दर 2.75 फीसदी बढ़कर 6.25 फीसदी हो जाएगा।
हालांकि, यह लाभ केवल उनको मिलेगा जिन खातों में कम से कम एक लाख रुपए जमा हैं। इसके अलावा नया फैसला लागू होने के बाद छोटी अवधि के लोन की ब्याज दरों में भी कमी आने की उम्मीद है। सावधि जमा पर अभी पहले की तरह ही ब्याज दरें मिलती रहेंगी।
ग्राहकों को रेपो रेट में बदलाव पर तुरंत मिलेगा लाभ
भारतीय रिजर्व बैंक की ओर से समय-समय पर रेपो रेट में बदलाव किया जाता है। रेपो रेट में कमी से बैंकों को फायदा और बढ़ोतरी से नुकसान होता है। लेकिन कई बार रेपो रेट में कमी का फायदा बैंक अपने ग्राहकों को नहीं देते हैं।
इससे ग्राहकों को नुकसान होता है। इसको देखते हुए SBI ने अपने बचत खातों को छोटी अवधि के लोन को रेपो रेट से लिंक करने का फैसला किया है। इससे बैंक के ग्राहकों को बड़ा फायदा होने की उम्मीद जताई जा रही है।
RBI ने हाल ही में घटाया है रेपो रेट
भारतीय रिजर्व बैंक ने बीते माह मौद्रिक नीति समिति की बैठक के बाद रेपो रेट में 25 बेसिस प्वाइंट की कमी करने की घोषणा की थी। RBI के इस कदम के बाद बैंकों पर लोन पर लागू ब्याज दरों में कटौती का दबाव बना हुआ है। कई बैंक ब्याज दरों में 5 से 10 बेसिस प्वाइंट की कमी कर चुके हैं। वहीं कई बैंक 31 मार्च तक ब्याज दरों में कटौती की योजना बना रहे हैं।