कोटा। जो उद्यमी वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम नहीं बना पाए हैं, उनको आगामी एक साल की मोहलत दी गई है। इस दौरान कोई जुर्माना नहीं लिया जाएगा। रीको के वरिष्ठ क्षेत्रीय प्रबंधक एस.के.गर्ग का कहना है कि पूर्व में मुख्यालय के निर्देश पर ही इस संबंध में नोटिस जारी किए गए थे।
अब रीको की ओर से नए नियमों के तहत अब जो भी नए उद्योग लगाए जा रहे हैं, उनसे तो पहले ही परियोजना रिपोर्ट में वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम का ले आउट प्लान मांगा जाता है। उसके बाद ही रीको की ओर से अनुमति दी जाती है।
राज्य सरकार की ओर से रीको के सभी औद्योगिक क्षेत्रों में संचालित कारखानों में वर्षा जल संचयन (रेन वाटर हार्वेस्टिंग) बनाने की अनिवार्यता की है, लेकिन कोटा के उद्यमियों ने इसमें कोई रुचि नहीं दिखाई। कुछेक को छोड़कर ज्यादातर उद्यमियों ने अभी तक वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम नहीं लगाए हैं। इस संबंध में पिछले दिनों रीको ने उद्यमियों को नोटिस भी जारी किए थे।
शहर के सभी औद्योगिक संगठनों की ओर से कहा है कि कोटा की पथरीली जमीन होने के कारण वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम कारगर नहीं है। इस कारण पूरे प्रदेश के लिए जारी किए गए आदेश को भौगोलिक परिस्थितियों के अनुकूल परीक्षण कर लागू किया जाए। उद्यमियों का कहना है कि कोटा में रीको के दबाव में जिन उद्यमियों ने लाखों रुपए खर्च कर वर्षा जल संचयन ढांचों का निर्माण किया है, वह सफल नहीं हो पाए हैं, क्योंकि चट्टानें होने के कारण पानी जमीन के अंदर नहीं जाता है।
लघु उद्योग कॉउन्सिल ऑफ कोटा के अध्यक्ष एल.बी. बाहेती का कहना है कि इस संबंध में सरकार को भी अवगत करवा दिया गया है। जिला औद्योगिक सलाहकार समिति की बैठक में भी यह मसला उठाया गया था।