नई दिल्ली । सार्वजनिक क्षेत्र के प्रमुख बैंक स्टेट बैंक ऑफ इंडिया ने जानकारी दी थी कि उसने एवरेज मंथली बैलेंस (एएमबी) में अप्रैल से अब तक 40 फीसद की कमी की है। साथ ही बैंक ने यह भी कहा था कि वो बेसिक सेविंग अकाउंट, माइनर और पेंशनर के खातों में मंथली एवरेज बैलेंस न रहने की सूरत में भी कोई शुल्क नहीं वसूलता है।
लेकिन क्या आप जानते हैं कि मंथली एवरेज बैलेंस की गणना कैसे की जाती है? अगर नहीं तो हमारी यह खबर आपके काम की है। हम अपनी इस खबर में आपको इस बारे में विस्तार से जानकारी दे रहे हैं। उदाहरण से समझें: अगर किसी बैंक ने 5,000 रुपये के मंथली एवरेज बैलेंस को अनिवार्य किया है…तो ऐसे कैलकुलेट होगा एवरेज मंथली बैलेंस..
मान लें 1 अगस्त को आपके बैंक खाते में 4,000 रुपये थे।
-12 अगस्त को आपने इससे 3,000 रुपये निकाल लिए
-18 अगस्त को आपने इसमें 9,000 रुपये जमा करा दिए, यानी अब आपके खाते में 10,000 रुपये हो गए।
-इस हिसाब से 1 से 12 अगस्त के बीच यानी 11 दिन में आपका टोटल बैलेंस होगा (4000×11=44,000) रुपये
-12 अगस्त से 18 अगस्त तक आपका टोटल बैलेंस हुआ (1000×6=6,000)
-18 अगस्त से 31 अगस्त तक आपका टोटल बैलेंस हुआ (10,000×13=1.3 लाख)।
-इस हिसाब से कुल बैलेंस हुआ 1.8 लाख रुपये (44,000+6,000+1,30,000) रुपये और इन दिनों का एवरेज हुआ -5,806 रुपये जो कि निर्धारित न्यूनतम राशि से ज्यादा है। लिहाजा इस सूरत में पेनाल्टी नहीं लगेगी।