नई दिल्ली। एन्फोर्समेंट डायरेक्टोरेट (ED) ने देश छोड़ कर भागे अपराधियों की करीब 15 हजार करोड़ रुपए की संपत्ति जब्त कर सकता है। यह कार्रवाई भगोड़ा आर्थिक अपराधी अध्यादेश के जरिए की जाएगी।
शराब करोबारी विजय माल्या और डॉयमंड कारोबारी नीरव मोदी जैस लोग भागकर विदेश में छिपे हुए हैं। सरकार ने नीरव मोदी के विदेश भागने के बाद ही इस कानून को अध्यादेश के माध्यम से लागू किया था।
अधिकारियाें के अनुसार ED ने अपनी तैयारी शुरू कर दी है। ED बैंक लोन डिफाल्ट करके विदेश भागे अपराधियों की जानकारी एकत्र कर विशेष एंटी मनी लॉड्रिंग कोर्ट में भगोड़ा आर्थिक अपराधी अध्यादेश के तहत कार्रवाई शुरू करेगा।
जानकारी के अनुसार भाग कर लंदन में छिपे हुए विजय माल्या, PNB फ्रॉड के आरोपी नीरव मोदी, उनके मामा मेहुल चौकसी और विनसम डायमंड के प्रमोटर जतिन मेहता सहित कुछ अन्य लाेगों के केस पर पहले कार्रवाई शुरू की जाएगी। इस नए कानून को लागू कारने की जिम्मेदारी ED को सौंपी गई है।
नए कानून के तहत ऐसे होगी कार्रवाई
अधिकारियों के अनुसार नए कानून के तहत विदेश भागे अपराधियों की संपत्ति भारत में हो या भारत के बाहर, अगर इस को ED ने प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (PMLA) के तहत अटैच नहीं किया है तो उसे तुरंत अटैच किया जाएगा।
जैसे ही CBI और ED नीरव मोदी के बारे में चार्ज शीट फाइल कर देते हैं, उन पर इस नए कानून के तहत कर्रवाई शुरू कर दी जाएगी। अभी तक ED विजय माल्या की 9890 करोड़ रुपए की एसेट अटैच कर चुका है, जबकि नीरव मोदी की 7664 करोड़ रुपए की एसेट अटैच हो चुकी है।
15 हजार करोड़ रुपए की एसेट और हो सकती है अटैच
अनुमान है कि ED शुरुआत में इस नए कानून के तहत 15 हजार करोड़ रुपए की एसेट अटैच कर सकता है। इनमें नीरव मोदी उनके मामा सहित विजय माल्या के मामले शामिल हैं। बाद में ऐसे ही अन्य मामलों पर कार्रवाई की जाएगी। अभी तक ED ऐसे मामलों में ट्रायल पूरा होने के बाद एसेट अटैच कर सकता था, जिसमें काफी समय लगता था।