कोटा। राजस्थान की गौरवशाली संस्कृति और समृद्ध परंपराओं को नमन करते हुए कोटा-बूंदी जिला दुग्ध उत्पादक सहकारी संघ कार्यालय में राजस्थान दिवस की पूर्व संध्या पर हर्षोल्लास के साथ राजस्थान दिवस मनाया गया। इस अवसर पर संघ के अधिकारियों, कर्मचारियों और दुग्ध उत्पादकों ने राज्य की समृद्धि, विकास और सामाजिक उत्थान के लिए संकल्प लिया।
अध्यक्ष चैनसिंह राठौड़ ने राजस्थान दिवस के अवसर पर उपस्थित सभी सदस्यों को शपथ ग्रहण करवाई कि वे राजस्थान की महान परंपराओं का सम्मान एवं निर्वहन करते हुए राज्य के विकास और खुशहाली में सक्रिय भागीदार बनेंगे। साथ ही, प्रदेश को समृद्ध, स्वच्छ, स्वस्थ, हरित और आत्मनिर्भर बनाने के हर संभव प्रयास में अपनी भागीदारी सुनिश्चित करेंगे। महिलाओं, युवाओं, किसानों, श्रमिकों और वंचित वर्गों के अधिकारों और सशक्तिकरण के लिए कार्य करने का भी संकल्प लिया गया।
ऐतिहासिक विरासत और गौरवशाली संस्कृति
संघ के अध्यक्ष चैनसिंह राठौड़ ने इस मौके पर कहा, राजस्थान दिवस हमें अपनी ऐतिहासिक विरासत और गौरवशाली संस्कृति की याद दिलाता है। यह दिन हमें यह संकल्प लेने का अवसर देता है कि हम अपने राज्य के विकास में योगदान दें और इसे स्वच्छ, समृद्ध और आत्मनिर्भर बनाने के लिए प्रयास करें। उन्होंने राज्य की दुग्ध उत्पादन क्षमता को और अधिक सशक्त बनाने तथा किसानों और दुग्ध उत्पादकों के हितों की रक्षा के लिए संघ की प्रतिबद्धता को दोहराया।
राजस्थान बने आत्मनिर्भर
संघ के प्रबंध संचालक दिलखुश मीणा ने अपने संबोधन में कहा, “राजस्थान की आत्मनिर्भरता और समृद्धि में दुग्ध उत्पादकों की भूमिका अहम रही है। हमारे राज्य के किसान और पशुपालक दिन-रात मेहनत कर दुग्ध उत्पादन में योगदान दे रहे हैं। हमें गर्व है कि हम इस समृद्ध परंपरा का हिस्सा हैं।” उन्होंने राजस्थान को दुग्ध उत्पादन में अग्रणी राज्य बनाने के लिए आधुनिक तकनीकों के समावेश और नवाचार को अपनाने पर जोर दिया।
कार्यक्रम में मौजूद सभी लोगों ने राज्य के विकास में निरंतर योगदान देने के लिए अपनी प्रतिबद्धता दोहराई। इस अवसर पर राज्य के विकास के प्रति निष्ठा और नवाचार को अपनाने के महत्व को भी रेखांकित किया गया।