नई दिल्ली। भारत ने कम कीमतों का फायदा उठाते हुए मार्च में रिकॉर्ड 4,45,723 टन कच्चे सूरजमुखी तेल का आयात किया। माह के दौरान देश का कुल खाद्य तेल आयात 11.49 लाख टन पर पहुंच गया। उद्योग निकाय SEA ने गुरुवार को यह जानकारी दी।
मार्च, 2023 में कच्चे सूरजमुखी तेल का आयात 1,48,145 लाख टन रहा, जबकि एक साल पहले कुल खाद्य तेल आयात 11.35 लाख टन था। भारत दुनिया का सबसे बड़ा खाद्य तेल उपभोक्ता और आयातक देश है। पाम तेल की वैश्विक कीमतों में वृद्धि के साथ पिछले दो महीनों में नरम तेलों सूरजमुखी और सोयाबीन तेल की मांग बढ़ गई है।
सॉल्वेंट एक्सट्रैक्टर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (एसईए) की ओर से जारी ताजा आंकड़ों में कहा गया है, ‘‘भारत ने पिछले दो माह में रिकॉर्ड मात्रा में सूरजमुखी तेल का आयात किया, फरवरी में 2,97,000 टन और मार्च में 4,46,000 टन की उच्चतम मासिक मात्रा में खाद्य तेल की प्राप्ति हुई।’’ कच्चे सोयाबीन तेल का आयात पिछले माह की तुलना में बढ़कर 2,18,604 टन हो गया है, लेकिन मार्च, 2023 के 2,58,925 टन से कम रहा।
पाम तेलों में कच्चे पाम तेल (सीपीओ) का आयात इस साल मार्च में घटकर 3.81 लाख टन रह गया, जो एक साल पहले की समान अवधि में 5.51 लाख टन था, जबकि आरबीडी पामोलीन आयात भी 1.69 लाख टन से घटकर 93,799 टन रह गया।
हालांकि, एसईए के आंकड़ों से पता चलता है कि कच्चे पाम कर्नेल तेल का आयात इस साल मार्च में बढ़कर 10,499 टन हो गया, जो एक साल पहले की समान अवधि में 8,006 टन था। एसईए के अनुसार, वैश्विक बाजार में पाम तेल सूरजमुखी तेल की तुलना में 70 डॉलर प्रति टन अधिक महंगा हो गया है।
इसमें कहा गया है कि इंडोनेशिया और मलेशिया में कम उत्पादन और स्टॉक की वजह से कम आपूर्ति के कारण वैश्विक पाम तेल की कीमतें मजबूत हुई हैं। इसमें कहा गया है कि भारत में आयात के लिए पांच अप्रैल को पाम तेल की कीमत 1,045 डॉलर प्रति टन बताई गई थी, जबकि कच्चा सूरजमुखी तेल सस्ता था और 975 डॉलर प्रति टन और सोयाबीन तेल 1,025 डॉलर प्रति टन पर उपलब्ध था।
एक अप्रैल तक बंदरगाहों और पाइपलाइन में 23.15 लाख टन खाद्य तेल का स्टॉक था। भारत मुख्य रूप से इंडोनेशिया और मलेशिया से पाम तेल, रोमानिया, रूस, अर्जेंटीना और यूक्रेन से कच्चे सूरजमुखी तेल और अर्जेंटीना और ब्राजील से सोयाबीन तेल का आयात करता है।