नई दिल्ली। अमेरिका में पांच साल में दूसरी बार शटडाउन होने से ना सिर्फ अमेरिका में सरकारी कामकाज ठप है बल्कि उसका सीधा असर भारत पर पड़ सकता है। भारत के निर्यात को बड़ा झटका लगा है और उसकी वजह है दोनों देशों के बीच का कारोबार।
भारतीय इंजिनियरिंग एक्सपोर्ट प्रमोशन काउंसिल (ईईपीसी) ने शनिवार को कहा कि अमेरिका की संघीय सरकार के ठप के चलते देश का निर्यात प्रभावित होगा, क्योंकि अमेरिका सबसे ज्यादा निर्यात किए जानेवाले देशों में से एक है।
ईईपीसी इंडिया के अध्यक्ष रवि पी. सहगल ने बताया कि अमेरिकी संघीय सरकार की बंदी की ख़बर निश्चित तौर पर भारतीय निर्यातकों के लिए बुरी ख़बर है।
क्योंकि, देश से सर्वाधिक निर्यात की जानेवाली अर्थव्यवस्थाओं में अमेरिका प्रमुख है। रवि पी. सहगह ने कहा कि इंजिनियरिंग क्षेत्र के लिए अमेरिका नंबर वन निर्यात गंतव्य है और मौजूदा वित्त वर्ष में इसमें मजबूत बढ़ोतरी देखी जा रही है।
गौरतलब है कि सीनेट के डेमोक्रेट सांसदों की ओर से संघीय सरकार के एक अल्पकालिक व्यय उपाय पर रोक लगाने के बाद ट्रंप सरकार ने शनिवार को शटडाउन की घोषणा की।
क्या है शटडाउन
- अमेरिका में एंटीडेफिशिएंसी एक्ट लागू है।
- इस एक्ट के तहत अमेरिका में पैसे की कमी होने पर संघीय एजेंसियों को अपना कामकाज रोकना पड़ता है, यानि उन्हें छुट्टी पर भेज दिया जाता है।
- इस दौरान उन्हें वेतन भी नहीं दिया जाता।
- ऐसी स्थिति में सरकार संघीय बजट लाती है, जिसे प्रतिनिधि सभा और सीनेट, दोनों में पारित कराना जरूरी होता है।