नई दिल्ली। अब भारतीय रेल (Indian Railway) के किसी भी ट्रेन के जनरल डिब्बों (General Coach) में यात्रा करने के लिए रिजर्वेशन कराने की जरूरत नहीं पड़ेगी। यूं तो रेलवे ने लंबी दूरी वाली सैकड़ों ट्रेनों के जनरल डिब्बों को अनारक्षित कोच (Unreserved Coach) बनाने का फैसला बीते फरवरी के अंतिम सप्ताह में ही ले लिया था। लेकिन उस समय कुछ ट्रेनों में 120 दिन आगे के लिए एडवांस टिकट बुक हो गया था। इसलिए उन ट्रेनों में यह फैसला लागू नहीं हो सका था।
जो रेलगाड़ी में यात्रा करते हैं, उन्हें पता होगा कि ट्रेन के जनरल डिब्बों में किस तरह के लोग चलते हैं। इनमें अधिकतर यात्री वैसे होते हैं, जिन्हें कम दूरी की यात्रा करनी होती है। जो इन डिब्बों में लंबी दूरी की यात्रा करते हैं, उनका यात्रा का कार्यक्रम अचानक बनता है। तब तक रिजर्व डिब्बों में नो रूम हो जाता है। ऐसे में वे चालू टिकट ले कर जनरल कोच में सवार हो जाते हैं। जनरल डिब्बे में कुछ ऐसे भी यात्री होते हैं जो रिजर्व क्लास में यात्रा का टिकट अफोर्ड नहीं कर सकते हैं। जनरल या सेकेंड क्लास का किराया कम होता है, इसलिए उनके लिए इस क्लास में सफर करना मुफीद होता है।
जरनल क्लास में रिजर्वेशन कराने की बाध्यता शुरू होने से टिकटों के दाम बढ़ गए थे। हालांकि रेलवे ने टिकट का दाम नहीं बढ़ाया था, लेकिन सीट का रिजर्वेशन कराने पर यात्रियों को टिकट के दाम के अलावा रिजर्वेशन चार्ज भी देना पड़ता था। फिलहाल रेलवे के जनरल क्लास में टिकट बुक कराने पर रिजर्वेशन चार्ज 15 रुपये, स्लीपर क्लास में बर्थ बुक कराने पर रिजर्वेशन चार्ज 20 रुपये, थर्ड एसी में 40 रुपये, सेकेंड एसी में 50 रुपये और फस्र्ट एसी में 60 रुपये का चार्ज है।
कल से हो गई बाध्यता खत्म
रेलवे के अधिकारियों का कहना है कि बीते फरवरी के अंतिम दिनों में सेकेंड क्लास या जनरल डिब्बों में रिजर्वेशन की बाध्यता खत्म की गई थी। लेकिन उस समय लंबी दूरी के कुछ ट्रेनों में सेकेंड क्लास में भी टिकट बुक थे। चूंकि इन ट्र्रेनों में एडवांस रिजर्वेशन पीरियड की अवधि 120 दिनों की है। इसलिए इतने दिनों तक इंतजार करना पड़ा। यह अवधि बीते 28 जून को खत्म हो गया है। इसलिए अब 29 जून से भी ट्रेनों में जनरल डिब्बों को चालू टिकट के लिए खोल दिया गया है। मतलब कि यात्री अब ट्रेन आने से कुछ मिनट पहले भी जनरल टिकट खरीद कर ट्रेन में सवार हो सकेंगे।
कोरोना काल में रिजर्वेशन किया गया था अनिवार्य
रेलवे ने कोरोना काल में यात्रियों को संक्रमण से बचाने के लिए जनरल डिब्बों को भी आरक्षित बना दिया गया था। उसके बाद से ही यात्रियों को इन डिब्बों में यात्रा करने के लिए टिकट रिजर्वेशन (Ticket Reservation) करवाना पड़ता था। इसका कुछ यात्रियों ने इसलिए भी विरोध किया था कि रिजर्वेशन कराने के लिए पहले ही कवायद करनी पड़ती है। जबकि जनरल डिब्बों में तो यात्रा से कुछ मिनट पहले भी टिकट लिया जा सकता है।
यूटीएस ऐप से भी ले सकेंगे टिकट
डिजिटल पेमेंट को बढ़ावा देने के लिए रेलवे ने यूटीएस ऐप (UTS App) पर भी चालू टिकट देना शुरू किया है। रेल अधिकारी का कहना है कि अब यात्री किसी भी ट्रेन के सेकेंड क्लास में यात्रा करने के लिए यूटीएस ऐप पर भी टिकट खरीद कर यात्रा कर सकते हैं। यूटीएस से टिकट कटाने पर यात्रियों का दो ऑप्शन मिलता है। पहला कि आप स्टेशन पर यात्रा शुरू करने से पहले ऑटोमेटिक मशीन से टिकट प्रिंट कर लें। या फिर मोबाइल फोन पर ही टिकट दिखा दें। अधिकतर यात्री मोबाइल फोन पर ही टिकट दिखा देते हैं।