कोटा। जेईई मेन्स का कट ऑफ स्कोर इस बार 75 से 80 अंकों के बीच रह सकता है। वहीं, 160 से अधिक अंक हासिल करने वाले स्टूडेंट्स को अच्छी एनआईटी में एडमिशन मिल जाएगा। 15 हजार तक की रैंक हासिल करने वालों को भी आसानी से टॉप एनआईटी मिलने की संभावना है।
रविवार को शहर के 18 केंद्रों पर जेईई मेन्स का ऑफलाइन एग्जाम हुआ। अब 15 व 16 अप्रैल को ऑनलाइन एग्जाम होगा। इसके बाद 24 से 27 अप्रैल तक स्टूडेंट्स के रिस्पोंस और आंसर की जारी की जाएगी। किसी जवाब पर संशय होने पर स्टूडेंट्स 1 हजार रुपए जमा करके आपत्ति कर सकते हैं।
– इस साल 2.24 लाख स्टूडेंट्स को एडवांस देने का मौका मिलेगा। इसलिए पिछले साल के मुकाबले मेरिट थोड़ी कम रहेगी।
– 2017 में जनरल वर्ग के स्टूडेंट्स की कटऑफ 81, ओबीसी की 49, एससी की 32 और एसटी की 27 अंक रही थी।
– इस साल के पेपर में 10 सवाल ऐसे थे, जो जेईई मेन्स के सिलेबस में तो हैं, लेकिन एडवांस के सिलेबस में नहीं हैं।
– ऐसे में जिन स्टूडेंट्स ने मात्र एडवांस के सिलेबस से मेन्स की तैयारियां की थी, उनको नुकसान हो सकता है।
– 16 सवाल ऐसे थे, जो पिछले तीन व चार साल के एग्जाम में आ चुके हैं। एक्सपर्ट्स के अनुसार पेपर आसान रहा।
– हालांकि मैथ्स का पेपर लेंदी रहा। कोटा में 9800 परीक्षार्थियों में से 160 अनुपस्थित रहे।
एक्सपर्ट बोले
– केमेस्ट्री के पेपर में थ्योरी पोर्शन ज्यादा था, इसलिए उसका स्तर थोड़ा मुश्किल रहा। मैथ्स में 5 से 6 सवाल लेंदी थे, लेकिन मुश्किल नहीं थे। फिजिक्स का पेपर तुलनात्मक रूप से सबसे आसान रहा। इसको देखते हुए कट ऑफ 75 से 80 के बीच रहने की संभावना है। –वीके बंसल, एमडी, बंसल क्लासेज
– फिजिक्स और मैथ्स स्कोरिंग रहेंगे। पेपर एनसीईआरटी बेस्ड रहा। हर साल एक-दो सवाल एनसीईआरटी के बाहर के आते हैं। कुछ टॉपिक्स से काफी सवाल पूछे गए। केमिस्ट्री में कार्बोनाइल कपाउंड और फिजिक्स में ज्योमेट्रिकल ऑप्टिक्स से सवाल नहीं आना बड़ी बात रही। -बृजेश माहेश्वरी, एकेडमिक डायरेक्टर, एलन
– एडवांस क्वालीफाई करने वालों की संख्या 4 हजार बढ़ाने से कट ऑफ पर ज्यादा असर नहीं पड़ेगा। लास्ट ईयर से पेपर लेंदी जरूर था। ओवरऑल पेपर अच्छा रहा। 75 से 80 नंबरों के बीच कट ऑफ स्कोर रह सकता है। पेपर में कोई कमी नजर नहीं आई।-शैलेंद्र माहेश्वरी, एकेडमिक डायरेक्टर, करिअर प्वाइंट