नई दिल्ली। अमरीकी कृषि विभाग के भारतीय प्रतिनिधि कार्यालय ((USDA Post) ने 2023-24 के वर्तमान सीजन के दौरान भारत में सोयाबीन का कुल उत्पादन घटकर 120 लाख टन पर सिमटने का अनुमान लगाया है, जो 2022-23 सीजन के उत्पादन 124.11 लाख टन से कम मगर 2021-22 सीजन के उत्पादन 119 लाख टन से कुछ अधिक है।
उस्डा पोस्ट की रिपोर्ट के अनुसार 2023-24 सीजन के दौरान भारत में सोयाबीन का बिजाई क्षेत्र बढ़कर 131 लाख हेक्टेयर पर पहुंचा जबकि अल नीनो मौसम चक्र एवं अगस्त के सूखे की वजह से करीब 3 लाख हेक्टेयर में फसल क्षतिग्रस्त होने की आशंका है।
इसके फलस्वरूप वास्तविक कटाई क्षेत्र 128 लाख हेक्टेयर रहने की संभावना है। सोयाबीन की औसत उपज दर करीब 938 किलो प्रति हेक्टेयर रहने का अनुमान लगाया गया है और इसके आधार पर 120 लाख टन का उत्पादन आंका गया है।
उस्डा पोस्ट की रिपोर्ट के मुताबिक 2023-24 के मार्केटिंग सीजन की शुरुआत के समय भारत में 14.85 लाख टन सोयाबीन का पिछला बकाया स्टॉक मौजूद था जबकि 120 लाख टन के उत्पादन एवं 6 लाख टन के संभावित आयात के साथ इसकी कुल उपलब्धता 140.95 लाख टन पर पहुंचने की उम्मीद है।
उसमें से 75 हजार टन सोयाबीन का निर्यात तथा 98 लाख टन की क्रशिंग-प्रोसेसिंग होने का अनुमान है। इसके अलावा घरेलू प्रत्यक्ष खाद्य उद्देश्य में 9.50 लाख टन सोयाबीन की खपत होने की संभावना व्यक्त की गई है।
कुल मिलाकर सोयाबीन की घरेलू खपत 126 लाख टन होने का अनुमान लगाया गया है जबकि 75 हजार टन का निर्यात होने के बाद मार्केटिंग सीजन के अंत में 14.20 लाख टन का अधिशेष स्टॉक मौजूद रह सकता है।
उस्डा पोस्ट के मुताबिक 2022-23 सीजन के दौरान भारत में 128 लाख हेक्टेयर में सोयाबीन की खेती हुई थी और 947 किलो प्रति हेक्टेयर की औसत उपज दर के साथ इसका कुल उत्पादन 124.11 लाख टन पर पहुंचा था।
उसके अलावा 15.04 लाख टन के पिछला बकाया स्टॉक तथा 7.02 लाख टन के आयात के साथ इसकी कुल उपलब्धता 146.17 लाख टन पर पहुंची थी। इसमें से 22 हजार टन का निर्यात एवं 131 लाख टन का घरेलू उपयोग होने के बाद सीजन के अंत में 14.95 लाख टन सोयाबीन का अधिशेष स्टॉक बच गया।