कोटा। राजस्थान सरकार की महिला कर्मचारियों की जमकर फजीहत हो रही है। महिला सुरक्षा का दम भरने वाला सरकारी सिस्टम ही उनका मानसिक उत्पीड़न कर रहा है। हालत इस कदर खराब हैं कि महिला कर्मचारियों को हाजिरी लगाने के अश्लील तस्वीरें देखने के लिए मजबूर किया जा रहा है।
राजस्थान के मेडिकल कॉलेजों में मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया (एमसीआई) ने इस साल की शुरुआत में बायोमेट्रिक हाजिरी अनिवार्य कर दी थी, लेकिन मशीन लगाने वाली निजी कंपनी ने इन्हें कमाई का जरिया बना डाला। जैसे ही कोई कर्मचारी बायोमेट्रिक मशीन की स्क्रीन पर थम्ब इम्प्रेशन लगाने जाता है, स्क्रीन पर विज्ञापन दिखाई देने लगते हैं। शुरुआत में तो सब कुछ ठीक था, लेकिन अब मशीन की स्क्रीन अश्लील विज्ञापनों ने घेर ली है।
रोजाना होना पड़ता है शर्मसार
कोटा के एमबीएस अस्पताल में लगी बायोमेट्रिक मशीन पर महिला ही नहीं पुरुष कर्मचारियों से लेकर चिकित्सकों तक को शर्मसार होना पड़ता है। वह जैसे ही बायोमेट्रिक मशीन पर उपस्थिति दर्ज करवाने के लिए थम्ब इम्प्रेशन लगाते हैं, उस पर अश्लील विज्ञापन आना शुरू हो जाता है।सबसे ज्यादा बुरी हालत महिला कर्मचारियों और चिकित्सकों की होती है। उन्हें पुरुष कर्मचारियों की मौजूदगी में ही यह विज्ञापन देखने पड़ते हैं, इसके बाद ही वह अपनी हाजिरी लगा पाती हैं। मेडिकल कॉलेज में 150 से ज्यादा फैकल्टी है, जिनमें 30 फीसदी महिलाएं है।
शिकायत मिल चुकी है-प्रभारी अधिकारी
एमबीएस हॉस्पीटल ही नहीं मेडिकल कॉलेज, प्रशासनिक खण्ड, सुल्तानपुर सीएचसी, दीगोद पीएचसी, जेके लोन हॉस्पीटल, और नए अस्पताल तक में लगी करीब 22 मशीनों का यही हाल है। एमबीएस हॉस्पीटल के प्रभारी अधिकारी डॉ. नवीन सक्सेना ने बताया कि यह मशीनें निजी कंपनी ने लगाई हैं। इन पर अश्लील तस्वीरें दिखाने की शिकायत मिल चुकी है। जिसकी जानकारी एमसीआई और सरकार को दे दी गई है। साथ ही मशीन स्थापित करने वाली फर्म को भी इसे ठीक करने के निर्देश जारी कर दिए गए हैं।