मुंबई। पूर्व पुलिस कमिश्नर परमबीर सिंह के इशारे पर बर्खास्त पुलिस अधिकारी सचिन वझे वसूली किया करते थे। कार डिजाइनर दिलीप छाबरिया ने यह गंभीर आरोप लगाया है। छाबरिया ने यह भी आरोप लगाया है कि परमबीर सिंह की छत्रछाया में सचिन वझे, रियाज काजी एक्सटॉर्शन रैकेट चलाते थे। आपको बता दें कि 4 महीने सलाखों के पीछे गुजारने के बाद फिलहाल छाबरिया जमानत पर बाहर आए हैं।
छाबरिया ने कहा कि मेरी डीसीपीडीएल कंपनी में 52% की हिस्सेदारी वाले किरण कुमार, इंद्रमल रामानी और सीआईयू यूनिट के पुलिस अधिकारी परमबीर सिंह के इशारे पर मेरे खिलाफ झूठे मुकदमे दर्ज करने की धमकी दे रहे थे। ऐसा न करने के एवज में उन्होंने मुझसे 25 करोड़ का एक्सटॉर्शन मांगा था। छाबरिया ने कहा कि रुपए न देने पर उन्होंने 15 से ज्यादा मामलों में फंसाने की धमकी दी थी।
छाबरिया ने कहा कि परमबीर सिंह के मार्गदर्शन में चल रहे इस एक्सटॉर्शन रैकेट में सीआईयू यूनिट के अंतर्गत आने वाले मामलों की दोबारा छानबीन की जानी चाहिए। फिलहाल मुकेश अंबानी के एंटीलिया विस्फोटक मामले में सचिन वझे और रियाज़ काजी एनआईए की गिरफ्त में हैं।
कपिल शर्मा को कार डिजाइनर दिलीप छाबरिया पर यह आरोप लगाया था कि उन्होंने 5.7 करोड़ रुपए का चूना लगाया है। यह बात तब सामने आई जब कपिल शर्मा को मुंबई पुलिस की क्राइम ब्रांच टीम ने समन भेजकर पूछताछ के लिए बुलाया था।
बता दें कि ‘डीसी डिजाइन’ के संस्थापक और मशहूर कार डिजाइनर दिलीप छाबरिया को कार फाइनेंस को लेकर धोखाधड़ी और ड्यूएल रजिस्ट्रेशन रैकैट में लिप्त होने को लेकर 29 दिसंबर को मुंबई क्राइम ब्रांच ने गिरफ्तार किया था और उन्हें जूडिशल कस्टडी में भेजा गया। उनके खिलाफ आईपीसी की धारा 420, 465, 467, 468, 471, 120 (बी) और 34 के तहत मामला दर्ज किया गया है।
सितम्बर 2020 में कपिल शर्मा ने economic offences wing (EOW) में शिकायत दर्ज कराई थी जिसमें कहा गया था कि उन्होंने साल 2017 में कस्टमाइज्ड वैनिटी वैन का ऑर्डर दिया था और छाबरिया को 5.7 करोड़ रुपए दिए थे, लेकिन यह वैन उन्हें आज तक नहीं मिला। कपिल शर्मा ने बताया कि वह उनसे और पैसों की डिमांड कर रहा था और इसके साथ ही वह पार्किंग चार्जेज भी मांगने लगा था।
कपिल शर्मा ने दिलीप छाबरिया को अपनी वैनिटी वैन डिजाइन करने के लिए मार्च 2017 और 2018 में पैसे दिए थे। जुलाई 2018 में दिलीप छाबड़िया ने 40 लाख रुपये और मांगे। इसके बाद कपिल शर्मा ने NCLT (National Company Law Tribunal) से सम्पर्क किया। जिन्होंने दिलीप के अकाउंट फ्रीज कर दिए थे। इसके बाद दिलीप फिर से कपिल के पास पहुंचे और 60 लाख रुपये और देने की बात कही, लेकिन उन्होंने गाड़ी डिलीवर नहीं की।
कपिल ने कहा कि सितंबर 2020 में छाबड़िया ने 12 से 13 लाख रुपये का बिल पार्किंग के लिए भेज दिया, जो कि उनके गैराज में दो साल से पड़ी है और काम अब भी बाकी है। इसके बाद कपिल EOW से शिकायत करने के लिए मजबूर हो गए थे ।