नई दिल्ली। कोरोना महामारी की जानलेवा दूसरी लहर के बीच शुक्रवार को GST काउंसिल की 43वीं बैठक केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की अध्यक्षता में हुई।मीटिंग में कोविड राहत आइटम्स के इंपोर्ट पर छूट देने का फैसला लिया गया है। इस छूट को 31 अगस्त 2021 तक बढ़ाए जाने का फैसला भी लिया जा रहा है। इसके अलावा ब्लैक फंगस की मेडिसिन एंफोटोरेशिन (Amphotericin) B के इंपोर्ट पर छूट भी 31 अक्टूबर तक बढ़ा दी गई है। अगर राहत की वस्तुओं को आप जरूरतमंदों में बांटने के लिए मंगा रहे हैं और राज्य ने इसकी इजाजत दे दी है, तो भी इसके आयात पर आपको जीएसटी से छूट मिलेगी।
जीएसटी कंपनसेशन के लिए कर्ज
जीएसटी कंपनसेशन को लेकर पिछले साल जैसा ही फॉर्मूला इस बार भी अपनाया जाएगा। अनुमान है कि केंद्र को करीब 1.58 लाख करोड़ रुपये उधार लेने पड़ेंगे और इसे राज्यों को दिया जाएगा।
एनुअल रिटर्न फाइलिंग को आसान बनाया
एनुअल रिटर्न फाइलिंग को आसान भी बनाया गया है। काउंसिल ने फैसला किया है कि सीजीएसटी एक्ट में बदलाव किया जाएगा, ताकि रीकंसीलिएशन स्टेटमेंट के सेल्फ सर्टिफिकेशन की इजाजत मिल सके, ना कि इसे किसी चार्टर्ड अकांटेंट से सर्टिफाई कराने की जरूरत हो।
छोटे व्यापारियों के लिए एनुअल रिटर्न
वित्त वर्ष 2020-21 की छोटे व्यापारियों के लिए एनुअल रिटर्न फाइल करने की प्रक्रिया जारी रहेगी। यह उनके लिए जिनका टर्नओवर 2 करोड़ रुपये से कम है। जिन कारोबारियों का टर्नओवर 5 करोड़ या इससे ज्यादा है, उन्हें वित्त वर्ष 2020-21 के लिए रिकॉन्सिलेशन स्टेटमेंट देना होगा।
वैक्सीन निर्माताओं को 4500 करोड़
एडवांस भुगतान के तौर पर दो वैक्सीन निर्माताओं को 4500 करोड़ रुपये दिए जा चुके हैं। भारत अभी जापान, यूरोप के वैक्सीन निर्माताओं और सप्लायर्स के साथ बातचीत कर रहा है, जिसके चलते आने वाले दिनों में वैक्सीन की सप्लाई बढ़ेगी।
एमनेस्टी स्कीम
अब करदाता पेंडिंग रिटर्न फाइल कर सकते हैं और कम हुई लेट फीस के साथ एमनेस्टी स्कीम (Amnesty scheme) का फायदा उठा सकते हैं। लेट फीस को लेकर भी एक नई व्यवस्था की गई है। छोटे करदाताओं के लिए अधिकतम लेट फीस में कटौती की है, जो अगले टैक्स पीरियड से प्रभावी होगी। इससे छोटे करदाताओं को बड़ी राहत मिलेगी।
जीएसटी काउंसिल ने महसूस किया है कि इनवर्जन ड्यूटी में कोई बदलाव करने के लिए यह सही समय नहीं है, इसलिए इसे जस का तस छोड़ा जा रहा है। काउंसिल की बैठक में एक मंत्रियों का समूह बनाने का फैसला किया गया है, जो 8 जून से पहले 10 दिन के अंदर एक रिपोर्ट देगा कि जो रेट तय किए गए हैं, उनमें और कटौती की गुंजाइश है या नहीं। जो संभावना होगा, उतनी कटौती कर दी जाएगी। इस बार जीएसटी काउंसिल की बैठक में कोरोना से जुड़े उपकरणों को लेकर विस्तार से चर्चा हुई।