दो दिवसीय स्मार्ट सिटी वर्कशॉप में नवाचारों पर हुआ मंथन
स्मार्ट सिटी में शामिल अधिकारियों ने दिए जनसेवाओं से जुडे़ प्रोजेक्ट के प्रजेंटेशन
कोटा। दो दिवसीय स्मार्ट सिटी समिट में राज्यों से चयनित शहरों के अधिकारियों व कंपनी प्रतिनिधियों के बीच शहरों के ओवरऑल डेवलपमेंट पर मंथन हुआ। जिला कलक्टर रोहित गुप्ता ने कहा कि शहर को किसी एक पक्ष के स्मार्ट होने से नहीं बल्कि नागरिकों, संगठनों व संस्थाओं के कार्यों में स्मार्टनेस लाने से ही स्मार्ट सिटी का दर्जा मिल सकता है।
जनता से जुड़ी हर सेवा समयबद्ध एवं पारदर्शी हों। वे कोटा में ‘रिक्रिएटिंग कोटा’ कैम्पेन से शहर के सार्वजनिकं, ऐतिहासिक स्मारकों व पर्यटक स्थलों तथा आवासीय क्षेत्रों में स्वच्छता से परिवर्तन लाने का प्रयास कर रहे हैं।
पुलिस अधीक्षक अंशुमान भौमिया ने कहा कि ट्रेफिक मैनेजमेंट स्मार्ट सेवाओं के लिए महत्वपूर्ण है। कंट्रोल कमांड सेन्टर से यातायात संचालन पर नजर रहती है। ट्रेफिक नियम तोड़ने वालों को घर बैठे चालान भेजना आसान हो गया है। जल्द ही ऑनलाइन एफआईआर एवं अपराधियों के डाटाबेस ऑनलाइन किये जाएंगे।
10 किमी तक ‘टूरिस्ट वॉक-वे’ बनेगा
नगर निगम आयुक्त डॉ.विक्रम जिन्दल ने कहा कि शहर में बहुमंजिला पार्किंग, नालों, सरकारी भवनों की छतों पर सोलर पैनल का प्लान बनाया गया है।
शहर में ऐतिहासिक स्थलों से 10 किमी का वॉक-वे, वाटर एडवेंचर एक्टिविटी, निगम सम्पत्तियों की जीओ ट्रेकिंग, वाहनों पर जीपीएस सिस्टम, रोड किनारे ग्रीन वॉल जैसे काम पूरे कर स्मार्टनेस लाने का प्रयास रहेगा।
स्मार्ट सिटी अम्ब्रेला एप से जनता को 18 सेवाओं, मेडकॉर्ड्स से डिजिटल हेल्थ प्रोफाइल, कोटा इंडिया रीड्स से ई-बुक, स्मार्ट डस्टबिन, बैरल गार्डन आदि के बारे में बताया।
उदयपुर व दुर्ग आयुक्त ने बताए सफाई के नवाचार
उदयपुर नगर निगम के सीईओ सिद्धार्थ सिहाग ने ई-रिक्शा, नो व्हीकल जोन, सोलर पार्क, स्मार्ट क्लासरूम, नदी संरक्षण, हेरिटेज ईमारतों के रखरखाव व कचरा निस्तारण आदि की जानकारी दी।
छत्तीसगढ से दुर्ग नगरनिगम के सीईओ एस.के.सुन्दरानी ने बताया कि जीरो वेस्ट मैनेजमेंट सिस्टम जनता, सरकारी संस्थाओं व व्यापारिक संगठनों सभी के लिए उपयोगी है। घर के कचरे का घर में निस्तारण हो। दुर्ग में मछली मार्केट का कचरा बतख पालक स्वयंसेवी संस्थाओं को देकर उन्हें 26 तालाबों से रोजगार दिया जा रहा है।
स्मार्ट तरीके से अमल करना होगा
आईसीआईसीआई बैंक के रीजनल मैनेजर अमित लोहिया ने सुझाव दिया कि सभी सेवाएं जनता को पोर्टल से दी जाएं। ई-गवर्नेंस, स्मार्ट परिवहन सेवा, स्मार्ट सीवरेज, सभी के लिए बैंकिंग व अन्य सेवाएं डीबीटी से उपलब्ध कराई जाए। कॉमन सिटी पेमेन्ट सिस्टम के लिए स्मार्ट कार्ड जारी किए जा सकते हैं।
पासपोर्ट सेवा केन्द्र के गोलक कुमार सिमली ने पासपोर्ट सेवा में ई-सॉल्यूशन की जानकारी दी। इंडस टेलीकॉम टॉवर के राजस्थान क्षेत्र के सीईओ दिनेश अरोड़ा ने सुझाव दिया कि जनता को वाई-फाई सुविधा, डिजीटल तकनीक, पर्यावरण सेवा, स्मार्ट पुलिस एवं ई-गवर्नेंस के लाभ देने से स्मार्ट सिटी की परिकल्पना साकार हो सकती है। महापौर महेश विजय ने कहा कि सरकारी दफ्तरों से जनता खुश होकर वापस लौटे तभी स्मार्ट सिटी का सपना सच होगा।
स्मार्ट सेवाओं के लिए मिले अवार्ड
समिट में अमृतसिटी पुरस्कार दुर्ग नगर परिषद आयुक्त सुदेष कुमार सुन्दरानी को, तेलांगना के रामागुंडम नगर परिषद आयुक्त डॉ. डी.जॉन सेमसन, स्मार्ट सिटी अवार्ड राजनांदगांव के नगर परिषद सीईओ अश्वनी देवांगन, उज्जैन नगर निगम के सीईओ अवधेश शर्मा, पासपोर्ट सेवा केन्द्र के मुख्य तकनीकी अधिकारी गोलक कुमार सिमली, उदयपुर नगर परिषद आयुक्त सिद्धार्थ सिहाग, कोटा नगरनिगम आयुक्त डॉ. विक्रम जिन्दल, जयपुर विकास प्राधिकरण के स्मार्ट सिटी नोडल अधिकारी देवेश गुप्ता, स्मार्ट ट्रांसपोर्ट अवार्ड पुणे महानगर परिवहन सेवा के सीएमडी तुकाराम मुंधे, पर्यावरण के क्षेत्र में अच्छी पहल के लिए नेचरटेक कम्पनी के प्रबंध निदेशक विपुल देसाई, स्मार्ट कनेक्टिविटी अवार्ड के लिए इंडस टावर के सीईओ दिनेश अरोडा, स्मार्ट कचरा प्रबंधन अवार्ड टेक्नो मार्केट के जीएम अमित शाह, स्मार्ट सोल्यूशन अवार्ड नमस्तेजी कम्पनी को दिया।