नाटिका में दी दस धर्मों के संदेश को जीवन में आत्मसात करने की प्रेरणा

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कोटा। “पर्व पर्युषण आया, आनंद उत्सव तप का महोत्सव रंग अनेक लाया, पर्युषण पर्व वंदन में 10 धर्मों को है नमन”—इन्हीं मंगल वचनों के साथ महावीर नगर प्रथम लाल मंदिर, कोटा में पर्वाधिराज दशलक्षण पर्व के पावन अवसर पर दिव्य देशना महिला मंडल द्वारा भव्य आयोजन सम्पन्न हुआ।

अध्यक्ष लोकेश जैन एवं महामंत्री नवीन जैन दौराया ने जानकारी दी कि तपोमूर्ति आचार्य प्रज्ञासागर मुनिराज के पावन सान्निध्य में सम्पन्न इस कार्यक्रम का शुभारंभ दीप प्रज्वलन के साथ हुआ। मुख्य अतिथि के रूप में प्रेमचंद, स्नेहलता, सुनील एवं संजय पाटनी उपस्थित रहे, वहीं विशेष अतिथि के रूप में विनोद–समिता, अभिषेक–शिवानी जैन टोरडी परिवार मौजूद रहा। कार्यक्रम के सूत्रधार बाल ब्रह्मचारी संस्कार भैया जी रहे।

महिला मंडल की अध्यक्ष संगीता जैन व सचिव रेणु जैन ने बताया कि महिला मंडल की प्रस्तुतियों ने कार्यक्रम को और भी आकर्षक बना दिया। तप आराधना विषय पर प्रस्तुत भव्य नाटिका ने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया।

नाट्य में दो सखियों के अभिनय के माध्यम से क्षमा, मार्दव, आर्जव, सत्य, शौच, संयम, तप, त्याग, अकिंचन और ब्रह्मचर्य—इन दस धर्मों के संदेश को जीवन में आत्मसात करने की प्रेरणा दी गई। क्रोध के स्थान पर क्षमा, अहंकार के स्थान पर अकिंचन तथा भोग-विलास के स्थान पर त्याग जैसे संदेशों ने श्रोताओं को गहराई से प्रभावित किया।

महिला मंडल की अध्यक्ष संगीता जैन व सचिव रेणु जैन ने बताया कि आयोजन का उद्देश्य समाज में दशलक्षण धर्म के आदर्शों को व्यापक स्तर पर स्थापित करना था। भक्ति गीतों और सुमधुर प्रस्तुतियों ने आयोजन को भक्ति एवं आध्यात्मिकता की अनूठी छटा प्रदान की।

समारोह में सकल समाज के परम संरक्षक विनोद टोरणी, कार्याध्यक्ष जे.के. जैन, लाल मंदिर के महामंत्री शैलेन्द्र जैन, योगेश सिंघम, विनय बिलाला, अर्पित सर्राफ सहित युवा महावीर मंडल के कार्यकर्ता बड़ी संख्या में उपस्थित रहे। दिव्य देशना महिला मण्डल लाल मंदिर द्वारा प्रतिभागियों को पुरस्कृत किया।