पर्यटन के विकास के लिए हाड़ौती फॉरेस्ट टूरिज्म डेवलपमेंट बोर्ड का गठन

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पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए अभ्यारण्य एवं चंबल सफारी को विकसित करना जरूरी: माहेश्वरी

कोटा। होटल फेडरेशन ऑफ राजस्थान कोटा डिवीजन की एक बैठक शनिवार को छावनी स्थित एक होटल पर संपन्न हुई। बैठक में कोटा डिवीजन के अध्यक्ष अशोक माहेश्वरी ने बताया कि हाड़ौती में पर्यटन विकास के लिए फैडरेशन के सवाई माधोपुर जिला के अध्यक्ष काजी अहतशामुद्दीन द्वारा हाड़ौती एवं सवाई माधोपुर पर्यटन विकास के लिए जो सहमति प्रदान की है, उससे आने वाले समय में हाड़ौती पर्यटन के लिए पूर्ण रूप से विकसित सवाई माधोपुर जिले से भी जुड़ जाएगा। इससे हाड़ौती के पर्यटन को एक दूसरी जगह पर यात्रा का भ्रमण के पैकेज बन सकेंगे। जो दोनों ही क्षेत्रों के लिए लाभदायक साबित होंगे।

बैठक में उद्योगपति प्रेम भाटिया ने बताया कि पिछले 6 माह में जिस तरह से हाड़ौती के पर्यटन को लेकर होटल फेडरेशन ऑफ राजस्थान कोटा डिवीजन द्वारा गतिशीलता प्रदान की गई है, निश्चित ही आने वाले समय में हाड़ौती के पर्यटन के विकास को गति मिलेगी। उन्होंने कहा कि काजी अहतशामुद्दीन के 40 साल के पर्यटन अनुभव के आधार पर हाड़ौती में किस तरह से पर्यटन विकसित किया जाए इसके लिए उनका मार्गदर्शन मिलेगा।

सवाई माधोपुर जिला अध्यक्ष काजी अहतशामुद्दीन ने कहा कि हाड़ौती मे सभी अभ्यारण्य बेहतरीन हैं और यह अभ्यारण्य रणथम्भोर से जुड़े हुए हैं। साथ ही 100 किलोमीटर की परिधि में हाड़ौती एवं सवाई माधोपुर जिले आ रहे हैं। उन्होंने कहा कि हाड़ौती में चंबल रिवर फ्रंट, सिटी पार्क, रामगढ़ विषधारी अभ्यारण्य, रामगढ़ कैटर, बूंदी किला, गागरोन फोर्ट, सूर्य मंदिर, गरडिया महादेव, मथुराधीश मंदिर, केशोरायपाटन मंदिर जैसे ऐतिहासिक एडवेंचर, धार्मिक एवं आधुनिक शैली के बहुत ही रमणीय पर्यटक स्थल हैं, लेकिन सालों के अनुभव के आधार पर वह कह सकते हैं कि पर्यटकों के लिए सबसे बड़ा आकर्षण वन अभ्यारण्य होता है।

यह क्षेत्र अभी तक पर्यटन वन सफारी के अनुकूल नहीं बन पाया है। इसके लिए फेडरेशन को डेवलपमेंट कमेटी की स्थापना करनी चाहिए। जो पूरी ताकत से इन अभ्यारण्य को विकसित करने के लिए जनप्रतिनिधियों के माध्यम से राज्य व केंद्र सरकार पर दबाव बनाकर इनको पूर्ण विकसित किया जा सके। उन्होंने कहा कि सवाई माधोपुर में सभी तरह के अच्छे होटल एवं रिसोर्ट है, जिनका किराया 2 हजार से लेकर 50 हजार रुपये तक है एवं आतिथ्य सत्कार की सभी मूलभूत सुविधाएं उनके द्वारा उपलब्ध कराई जाती है।

उन्होंने कहा कि हाड़ौती में संपूर्ण पर्यटन विकास करना है तो यहां के स्थानीय निवेशकों द्वारा कोटा- बूंदी, कोटा -बांरा, कोटा- झालावाड़ रोड के बीच अच्छे होटल रिसोर्ट की स्थापना करनी होगी। साथ ही अभ्यारण्य के आसपास 10 किलोमीटर की परिधि में भी होटल और रिसोर्ट का निर्माण करना होगा। इन क्षेत्रों में निवेशकों के लिए अभी गोल्डन टाइम है, जिसके तहत राज्य सरकार एवं पर्यटन विभाग द्वारा पर्यटन के क्षेत्र में निवेश करने वालों को ऋण पर 6% ब्याज में छूट आसानी से उपलब्ध होगी। इसके अलावा बिजली, भूमि कन्वर्जन में छूट जैसी सुविधाएं दी जा रही हैं। उन्होंने कहा कि हाड़ौती में सवाई माधोपुर व अन्य कई संभागों के होटल व्यवसाई निवेश करने का मानस बना रहे हैं। क्योंकि हाड़ौती को नई पर्यटन डेस्टिनेशन के रूप में देखा जा रहा है।

बैठक में कोटा डिवीजन के सचिव कोशल बंसल एवं सलाहकार बोर्ड के निदेशक अनिल मूंदड़ा ने कहा कि मुकुंदरा में वर्तमान में जो सफारी चल रही है वह बफर जोन में है। जबकि बाघ कोर जोन में होते हैं। सैलानी वहां जाते हैं तो उन्हें बाघ नहीं मिलते हैं। बाग के दीदार के लिए कोर जोन में पर्यटकों को जाने की अनुमति दी जानी चाहिए, जिसकी प्रक्रिया चल रही है एवं वहां पर और बाघ बाधिन लाये जाने चाहिए। बाघों की शिफ्टिंग नहीं हो पा रही है, उसके लिए एक कमेटी का गठन किया जाना चाहिए जो इस दिशा में सकारात्मक प्रयास करे ।

इसके लिए होटल एवं रिजॉर्ट बनाने के लिए कोटा के निवेशकों ने जमीन ली हुई है, जैसे ही यह विकसित हो जाएंगे हम पर्यटकों की सुविधा के लिए बेहतरीन होटल रिसोर्ट इस एरिया में बनाएंगे। फेडरेशन ऑफ़ राजस्थान कोटा डिवीजन के अध्यक्ष अशोक माहेश्वरी ने बैठक में हुए गहन मंथन और सभी की आमराय से यह माना कि हाड़ौती में पर्यटन विकास को गति देने के लिए हाड़ौती में स्थित अभ्यारण्य एवं फॉरेस्ट पर्यटन के विकास के लिए फेडरेशन द्वारा एक कमेटी का गठन अति आवश्यक है।

इसी को मध्य नजर रखते हुए बैठक में हाड़ौती फॉरेस्ट टूरिज्म डेवलपमेंट बोर्ड के गठन की घोषणा की गई। जो इन क्षेत्रों की अभ्यारण्य एवं फॉरेस्ट के विकास के लिए सभी स्तरों पर कार्य करेगी।

इस कमेटी के चेयरमेन फेडरेशन के सवाई माधोपुर जिले के अध्यक्ष काजी अहतशामुद्दीन और कोशल बंसल को वाइस चेयरमेन मनोनीत किया गया है। इसके बोर्ड के निदेशक के रूप में बूंदी इकाई से उपाध्यक्ष मुकेश श्रृंगी, सचिव लोकेश सुखवाल, बांरा ईकाई से उपाध्यक्ष हरिओम अग्रवाल, सचिव जगदीश शर्मा, झालावाड़ से वरि० उपाध्यक्ष वीरेंद्र सिंह झाला एवं सचिव सौरभ जैन कोटा जिले से सलाहकार बोर्ड के निदेशक, अनिल मूंदड़ा, गणपत लाल शर्मा एवं सलाहकार के रूप में रिटायर्ड डीएफओ दौलत सिंह को मनोनीत किया गया है।

कोटा डिवीजन के अध्यक्ष अशोक माहेश्वरी एवं महासचिव संदीप पांडिया ने बताया कि गत महिनों मे हाड़ौती में बहुतयात में देसी विदेशी पर्यटकों का आवागमन हुआ है। लेकिन यहां अभ्यारण्यों के विकसित नहीं होने के कारण इनका भ्रमण नहीं कर पाए हैं। इस वजह से पर्यटक एक या दो दिन में ही यहां से घूमकर निकल जाते हैं। अगर यहां पर इन अभ्यारण्यों का विकास होता है तो निश्चित ही पर्यटक तीन से चार दिन रुक कर हाड़ौती के अन्य पर्यटन स्थलों का भी भ्रमण कर पाएंगे। इन सब चीजों को मध्य नजर रखते हुए यह कमेटी बोर्ड फॉरेस्ट एवं अभ्यारण्यों के विकास के लिए कार्य करेगी।