चालू वित्त वर्ष में डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन 18% बढ़कर 11.25 लाख करोड़ पर पहुंचा

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नई दिल्ली। Tax Collection: आयकर विभाग की ओर से शुक्रवार को जारी ताजा आंकड़ों के मुताबिक वित्त वर्ष 2025 में 1 अप्रैल और 11 अक्टूबर के बीच रिफंड के समायोजन के बाद भारत का शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह 18.35 प्रतिशत बढ़कर 11.3 लाख करोड़ रुपये हो गया है। पिछले साल की समान अवधि में कर संग्रह 9.51 लाख करोड़ रुपये था।

कर बढ़ोतरी में व्यक्तिगत आयकर (पीआईटी) ने कॉर्पोरेशन कर को पीछे छोड़ दिया है। पीआईटी 5.98 लाख करोड़ रुपये (शुद्ध) रहा है, जो पिछले साल की समान अवधि में 4.88 लाख करोड़ रुपये था।

कॉर्पोरेशन कर (शुद्ध) 4.95 लाख करोड़ रुपये रहा है, जिसमें 11.2 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। यह चालू वित्त वर्ष में रखे गए 12 प्रतिशत वृद्धि के लक्ष्य से कम है। प्रत्यक्ष कर में पीआईटी और कॉर्पोरेशन कर शामिल होता है।

प्रतिभूति लेनदेन कर, जो पीआईटी का हिस्सा है, बढ़कर 30,630 करोड़ रुपये हो गया है, जो पिछले साल की समान अवधि में 16,373 करोड़ रुपये था। इसकी वजह कर की दरों में बदलाव और शेयर बाजार में कारोबार बढ़ना है। कर विभाग के मुताबिक रिफंड के पहले सकल कर संग्रह 13.57 लाख करोड़ रुपये रहा है, जिसमें पिछले वित्त वर्ष की तुलना में 22.30 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।

सरकार ने 11 अक्टूबर तक 2.31 लाख करोड़ रुपये प्रत्यक्ष कर रिफंड जारी किया है। यह पिछले वित्त वर्ष 2024 की समान अवधि के 1.6 लाख करोड़ रुपये की तुलना में 46.03 प्रतिशत अधिक है। बजट में केंद्र सरकार ने वित्त वर्ष 2025 में सकल कर राजस्व बढ़ाकर 38.40 लाख करोड़ रुपये करने का लक्ष्य रखा है।