पाकिस्तान ब्रिक्स में शामिल होने के लिए रूस और चीन की शरण में, जानिए भारत का रुख

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इस्लामाबाद। पाकिस्तान ने BRICS समूह में शामिल होने की अपनी इच्छा फिर दोहराई है। वित्त मंत्री मुहम्मद औरंगजेब ने कहा कि पाकिस्तान इस ब्लॉक के भीतर एक रचनात्मक भूमिका निभा सकता है।

अजरबैजान की प्रमुख समाचार एजेंसी, रिपोर्ट इंफॉर्मेशन एजेंसी (REPORT) और रूस की प्रमुख समाचार एजेंसी, RIA नोवोस्ती के साथ दो अलग-अलग इंटरव्यू में मुहम्मद औरंगजेब ने पाकिस्तान की आर्थिक प्राथमिकताओं, निवेश दृष्टिकोण और क्षेत्रीय और वैश्विक भागीदारों के साथ बढ़ते जुड़ाव के बारे में बताया।

पाकिस्तान लंबे समय से ब्रिक्स की सदस्यता के लिए आवेदन कर रहा है। हालांकि, उसे अब तक इस समूह में शामिल नहीं किया गया है। विशेषज्ञों के अनुसार, पाकिस्तान को इस प्रतिष्ठित गुट की सदस्यता प्राप्त करने के लिए भारत सहित सभी सदस्यों की सहमति हासिल करनी होगी। दोनों देशों के बीच तनाव को देखते हुए, भारत द्वारा पाकिस्तान के आवेदन का विरोध किए जाने की संभावना है।

RIA नोवोस्ती के साथ अपने इंटरव्यू में, औरंगजेब ने BRICS में शामिल होने की पाकिस्तान की इच्छा दोहराई। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान पहले से ही शंघाई सहयोग संगठन (SCO) का एक सक्रिय सदस्य है और BRICS ढांचे के भीतर एक रचनात्मक भूमिका निभा सकता है। उन्होंने वैकल्पिक सीमा-पार भुगतान प्रणालियों पर चल रही वैश्विक चर्चाओं को स्वीकार किया और कहा कि BRICS के साथ जुड़ाव बढ़ने के साथ पाकिस्तान ऐसे तंत्रों का पता लगाएगा।

निवेश फैसिलिटी के बारे में बात करते हुए, पाकिस्तानी वित्त मंत्री ने इस बात पर जोर दिया कि मैक्रोइकोनॉमिक स्थिरता सुनिश्चित करना सरकार की सबसे बड़ी प्राथमिकता है, क्योंकि निवेशकों का विश्वास सीधे मुद्रा स्थिरता, मुनाफे की वापसी और समग्र आर्थिक निश्चितता से जुड़ा है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान का विदेशी मुद्रा भंडार लगातार बेहतर हो रहा है और लगभग तीन महीने के आयात को कवर करने के करीब पहुंच रहा है, जिसे उन्होंने निवेशक आश्वासन के लिए आवश्यक “बुनियादी स्वच्छता” बताया।

ब्रिक्स क्या है
ब्रिक्स (BRICS) ब्राजील, रूस, भारत, चीन और दक्षिण अफ्रीका जैसे उभरती अर्थव्यवस्थाओं का एक समूह (अंतर-सरकारी संगठन) है, जिसका लक्ष्य आर्थिक सहयोग बढ़ाना और वैश्विक प्रभाव को मजबूत करना है, जिसने हाल ही में मिस्र, इथियोपिया, ईरान, सऊदी अरब और संयुक्त अरब अमीरात को शामिल कर ‘ब्रिक्स+’ के रूप में विस्तार किया है, जो व्यापार, निवेश, प्रौद्योगिकी और वैश्विक शासन जैसे क्षेत्रों में सहयोग करता है और विश्व अर्थव्यवस्था में एक बड़ी शक्ति के रूप में उभरा है।