कोटा। मुम्बई के अनुभवी फ़िल्म एक्टिंग कोच नरेश पाँचाल ने पहली बार कोटा में दो सप्ताह की वर्कशॉप एक प्राइवेट कॉलेज महावीर नगर में 27 अक्टूबर से शुरू की थी, जिसका समापन शनिवार को हुआ।
यह वर्कशाप चम्बल इंटरनेशनल फ़िल्म फेस्टिवल के संस्थापक और निदेशक डॉ. कपिल सिद्धार्थ के संयोजन में और कॉलेज के चेयरमैन कुलदीप माथुर के सहयोग से आयोजित की गई थी। नरेश पाँचाल, मुम्बई में 18 साल से फ़िल्म एक्टिंग की ट्रेनिंग दे रहे हैं और उनके सिखाए अनेक स्टूडेंट्स फ़िल्म, सीरियल, वेबसीरीज़ आदि में काम कर रहे हैं।

इस वर्कशॉप में फ़िल्म एक्टिंग, कैमरा फेसिंग, मोनोलॉग, सीन करना, डायलॉग डिलीवरी, ऑडिशन प्रैक्टिकली सिखाया गया। फिल्म, सीरियल में काम कैसे मिलेगा, घर पर ऑडिशन कैसे बनाएं, क्या प्रैक्टिस करें समेत कई ज़रूरी बातें भी बताई गई।
समापन समारोह के मुख्य अतिथि होटल फेडरेशन ऑफ़ राजस्थान के कोटा डिवीज़न के अध्यक्ष अशोक माहेश्वरी ने कहा कि कोटा में ऎसी वर्कशॉप आयोजित होना काबिले तारीफ है। कोटा में ही अभिनय के गुर सिखाये जा रहे हैं, जो कोटा में फिल्मों में काम करने के इच्छुक लोगों के लिए सहायक सिद्ध होंगे। फिल्म की शूटिंग भी पर्यटन का बहुत बड़ा भाग है। हाड़ोती में फिल्म शूटिंग की अपार संभावनाएं हैं और यहां बेहतरीन लोकेशंस हैं।
अध्यक्षता कर रहे एजुकेशनल ग्रुप के चेयरमैन कुलदीप माथुर ने आशा जताई की भविष्य में ऐसी वर्कशॉप्स होंगी, जो कोटा की प्रतिभाओं को एक मंच प्रदान करेंगी। पिछले साल कोटा में फिल्माई गई पहली विदेशी फीचर फिल्म ‘सफ़ेद ‘ में कोटा के अनेक कलाकारों को काम करने का मौका मिला। उन्होंने उम्मीद जताई की कोटा की शिक्षण संस्थाओं में नाटक और अभिनय के क्लब बनाये जायेंगे, जिससे विद्यार्थियों की प्रतिभा संस्था में तराशी जा सके।
नरेश पांचाल ने कहा की कोटा के लोगों में बहुत संभावनाएं हैं और प्रतिभा को निखारने के लिए ही इस वर्कशॉप का आयोजन किया गया था। भविष्य में 3 महीने की वर्कशॉप भी आयोजित की जाएगी। कोटा में लगातार शूटिंग हो रही है, जिसमें यहाँ के कलाकार भी काम करने में रूचि दर्शा रहे हैं। क्योंकि फिल्मों, वेब सीरीज़ और सीरियल में ट्रेंड आर्टिस्ट की ज़रूरत हमेशा रहती है।
वर्कशॉप में ऋतु गोयल, समीर मेहता, गिर्राज प्रसाद मेहरा, हनुवीर सिंह, नवनीत सोनी, युवराज, अरिन चतुर्वेदी ने भी अपने विचार व्यक्त करते हुए बताया कि इस वर्कशॉप से न केवल उनकी झिझक खुली, अपितु कई नई बातें जानने का अवसर प्राप्त हुआ।
संवाद अदायगी में सांस का महत्व, उचित उच्चारण, फेशियल एक्सप्रेशन में बहुत सुधार हुआ। यह वर्कशॉप बहुत कारगर सिद्ध हुई। कपिल सिद्धार्थ ने धन्यवाद ज्ञापित किया और अतिथियों द्वारा सभी प्रतिभागियों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया।

